महंगाई से जूझती जनता के नाम पर सड़कों पर नेताओं ने चमकाई राजनीति. महंगाई से लुटी समर्थक जनता के सिर पर पड़ीं लाठियां और बह निकला खून. नेता गिरफ्तार हुए गाड़ी में बैठकर चले गए. जमानत पर छूट गए. घायल समर्थक अस्पताल गए. महंगा इलाज करवाया और फिर रात के महंगे खाने की फिक्र में आराम भी नहीं कर पाए. विपक्ष का महंगाई विरोधी एक और बंद खत्म हो गया.