करोड़ों लोगों की प्रयाग के कुंभ में पवित्र स्नान करने की इच्छा 12 वर्षों बाद पूरी हो रही थी, लेकिन महाकुंभ पर मातम का ग्रहण लग गया. भगदड़ मची और 36 लोगों की जान चली गई. 11 हजार करोड़ के बजट वाले महाकुंभ में हुए इस हादसे की जिम्मेदारी लेने को कोई तैयार नहीं.