कोर्ट कचहरी के गंभीर कामकाज के बीच अकसर कई मौके ऐसे भी आते हैं जब आदालत का माहौल मुस्कान से तर हो जाता है. कभी जान बूझकर हल्का मजाक या कभी अनजाने में कही गई बात माहौल को एकदम हल्का फुल्का कर देती है. गुरुवार को भी ऐसा ही वाक्या हुआ. सुप्रीम कोर्ट में उस वक्त सबके चेहरों पर मुस्कान आ गई जब दस्तावेजों पर नजर गड़ाए हुए मोटे चश्मे से झांकती उलझन भरी निगाहें ऊपर उठाते हुए जस्टिस जोसफ ने याचिकाकर्ता के वकील से पूछा- ये HMJ SKK क्या है?
वकील ने छूटते ही कहा माई लॉर्ड! ऑनरेबल मिस्टर जस्टिस संजय किशन कौल! जस्टिस जोसफ में सिर्फ इतना कहा, 'ओह आई सी', यानी अब समझ गया और उनके चेहरे पर भी हल्की मुस्कान छा गई. क्योंकि वकील द्वारा इस्तेमाल शब्दों के शॉर्ट फॉर्म यानी अब्रिविएशन पर उलझन हो गई थी. जवाब मिलने के बाद कोर्ट का माहौल भी कुछ बदला. फिर कामकाज आगे बढ़ गया.
बता दें कि दो दिन पहले भी चीफ जस्टिस की अदालत में जब पूर्व अटॉर्नी जनरल केके वेणुगोपाल किसी मामले में पेश हुए तो सीजेआई जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ ने उनको मिस्टर अटॉर्नी कहते हुए संबोधित किया. के.के वेणुगोपाल सहित कोर्ट रूम में मौजूद कई लोगों इस बात का आभास हो गया था कि सीजेआई ने पूर्व अटॉर्नी जनरल को मिस्टर अटॉर्नी संबोधित किया.
हालांकि इसके कुछ पल बाद ही सीजेआई को भी अहसास हो गया. उन्होंने सही करते हुए पहले सॉरी कहा! फिर भूल स्वीकार करते हुए कहा कि कुछ आदतें बहुत मुश्किल से जाती हैं. वैसे हमारे लिए तो एक बार अटॉर्नी होने के बाद हमेशा अटॉर्नी ही रहते हैं.सीजेआई की इस अदा पर वेणुगोपाल सहित सभी मुस्कुरा उठे.