भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के वरिष्ठ नेता सुब्रमण्यम स्वामी ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की है. सुब्रमण्यम स्वामी ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर कर भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) के अधिकारियों की ओर से की गई अनियमितता की जांच की मांग की है. सुब्रमण्यम स्वामी की याचिका पर सुप्रीम कोर्ट में सोमवार को सुनवाई हुई.
सुब्रमण्यम स्वामी की ओर से दाखिल याचिका पर सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस बीआर गवई और जस्टिस बीवी नागरत्ना की बेंच ने भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) और केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) को नोटिस जारी कर जवाब देने के लिए कहा है. इससे पहले याचिकाकर्ता सुब्रमण्यम स्वामी ने कोर्ट के सामने संक्षेप में अपनी बात रखी.
सुब्रमण्यम स्वामी की दलील सुनने के बाद जस्टिस बीआर गवई और बीवी नागरत्ना ने कहा कि हम इस पर विचार करेंगे. नोटिस जारी करेंगे. सुब्रमण्यम स्वामी ने सुप्रीम कोर्ट में दलील देते हुए कहा कि बैंकिंग फ्रॉड के कई मामलों में बैंक अधिकारियों की भूमिका की जांच एजेंसियों ने कभी जांच नहीं की. उन्होंने विजय माल्या और अन्य मामलों का उदाहरण दिया.
सुब्रमण्यम स्वामी ने कहा कि रिस्क मैनेजर की जॉब किसी व्यक्ति को लोन देने से पहले उसे लेकर रिस्क का आकलन करने की होती है लेकिन उससे कभी किसी मामले में पूछताछ नहीं की गई. सुब्रमण्यम स्वामी ने अपनी याचिका में आरोप लगाया है कि यस बैंक और बैंक ऑफ महाराष्ट्र से संबंधित घोटाले में भारतीय रिजर्व बैंक के अधिकारियों की भूमिका की जांच नहीं की गई.
बीजेपी के वरिष्ठ नेता सुब्रमण्यम स्वामी की ओर से दायर याचिका में आरबीआई के अधिकारियों पर नियम-कानून के विपरीत कार्य करने का आरोप लगाया गया है. याचिका में आरोप लगाया गया है कि भारतीय रिजर्व बैंक के अधिकारियों ने भारतीय रिजर्व बैंक अधिनियम, बैंकिंग विनियमन अधिनियम और भारतीय स्टेट बैंक अधिनियम सहित अन्य कानूनों का प्रत्यक्ष रूप से उल्लंघन करते हुए इनके खिलाफ कार्य किया.