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रात में देर से खाना मस्तिष्क के लिए हानिकारक

कई लोग रात में देर से भोजन करने के आदी होते हैं. ऐसे लोग सावधान हो जाएं, क्योंकि इसका मस्तिष्क पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ सकता है. यह खुलासा नए शोध में हुआ है. देर रात यानी जब आपका शरीर सोने की जरूरत महसूस कर रहा होता है, तब भोजन करना न सिर्फ आपके सीखने की क्षमता को प्रभावित कर सकता है, बल्कि इससे आपकी स्मरण शक्ति भी बुरी तरह प्रभावित हो सकती है.

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कई लोग रात में देर से भोजन करने के आदी होते हैं. ऐसे लोग सावधान हो जाएं, क्योंकि इसका मस्तिष्क पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ सकता है. यह खुलासा नए शोध में हुआ है. देर रात यानी जब आपका शरीर सोने की जरूरत महसूस कर रहा होता है, तब भोजन करना न सिर्फ आपके सीखने की क्षमता को प्रभावित कर सकता है, बल्कि इससे आपकी स्मरण शक्ति भी बुरी तरह प्रभावित हो सकती है.

रिसर्च में सिर्फ देर रात में भोजन करने वालों के लिए ही चिंता नहीं जताई गई है, बल्कि रात की शिफ्ट में काम करने वाले भी कुछ इसी तरह के खतरे से जूझते हैं.

लॉस एंजेलिस के कैलिफोर्निया विश्वविद्यालय में साइकियाट्री व बायो विहेवियरल साइंसेज के प्रोफेसर क्रिस्टोफर कोलवेल के मुताबिक हम इस गलत फहमी में जीते हैं कि काम और खाना दोनों ही किसी भी वक्त पर कर सकते हैं.

यह बात भी सामने आई है कि क्षमता से अधिक समय तक काम करने की जीवनशैली का भी स्वास्थ्य पर बुरा असर पड़ता है. सरकाडियन रिद्म (शरीर के अंदर मौजूद जैविक घड़ी) 24 घंटे के चक्र का पालन करती है और हॉर्मोन एवं स्वभाव सहित शरीर की सभी गतिविधियों को नियंत्रित करती है.

कोलवेल के मुताबिक, इस चक्र में किसी भी तरह की छेड़छाड़ न सिर्फ प्रतिरक्षा प्रणाली पर बुरा असर करती है, बल्कि इससे टाइप 2 मधुमेह का भी खतरा रहता है.

-इनपुट IANS

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