National Nutrition Week 2021: 1 से 7 सितंबर तक नेशनल न्यूट्रिशन वीक मनाया जा रहा है. ऐसे में, हम आपको पोषण को लेकर अहम जानकारियां दे रहे हैं. कई बार ऐसा भी होता है कि जो चीजें पोषक तत्वों का खजाना होती हैं, मिलावट की वजह से वो सेहत को नुकसान पहुंचाती हैं. जैसे कि हरी-पत्तेदार सब्जियां हमारी सेहत के लिए बहुत जरूरी हैं. इन्हें खाने से शरीर को पर्याप्त विटामिन और मिनरल मिलते हैं जो हमें दुरुस्त रखते हैं. लेकिन अगर आपसे कहा जाए कि बाजार में मिलने वाली ये सब्जियां मिलावटी भी हो सकती हैं तो यकीनन आपकी चिंता बढ़ जाएंगी.
अक्सर लोगों के लिए यह पता करना जरा मुश्किल काम होता है कि बाजार से खरीदी जा रही सब्जियां हेल्दी और फ्रेश हैं या नहीं. चूंकि मिलावटी सब्जियों से हमारी सेहत को बड़े नुकसान हो सकते हैं, इसलिए सब्जियों की क्वॉलिटी चेक करना बहुत जरूरी हो जाता है.
अगर आप सोच रहे हैं कि बाजार से खरीदी गई सब्जियों में मिलावट की जांच कैसे की जाए तो इसके लिए फूड सेफ्टी एंड स्टैंडर्ड ऑथोरिटी ऑफ इंडिया (FSSAI) ने बड़ी ही साधारण सी तरकीब साझा की है. इसकी मदद से आप बड़ी आसानी से सब्जियों की क्वालिटी चेक कर सकेंगे.
FSSAI ने अपने ट्विटर हैंडल पर एक वीडियो साझा किया है. इस वीडियो में बताया गया है कि कॉटन (रूई) को एक लिक्विड पैराफिन में भिगो लीजिए. इसके बाद कॉटन को सब्जियों की बाहरी परत पर हल्के हाथ से रगड़िए. थोड़ी ही देर में सच्चाई आपके सामने आ जाएगी.
Detecting malachite green adulteration in green vegetable with liquid paraffin.#DetectingFoodAdulterants_1@MIB_India@PIB_India @mygovindia @MoHFW_INDIA pic.twitter.com/knomeEnbmA
— FSSAI (@fssaiindia) August 18, 2021
अगर कॉटन का रंग हरा पड़ा जाता है तो समझ जाइए कि उस सब्जी में मिलावट की गई है और अगर कॉटन के रंग में कोई बदलाव नहीं होता तो इसमें कोई मिलावट नहीं की गई है. सब्जियों को रंगने के लिए इस्तेमाल किया जा रहा मैलाकाइट ग्रीन एक टेक्सटाइल डाई है जिसका प्रयोग मछलियों के इलाज में एक एंटीप्रोटोजोअल और एंटीफंगल के रूप में किया जाता है.
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इसका इस्तेमाल कई उद्देश्यों से तमाम इंडस्ट्रीज, हेल्थ टेक्सटाइल और फूड में पैरासिटीसाइड के रूप में भी किया जाता है. ये मछलियों और जलीय जीवों में हेलमिन्थ्स के कारण होने वाले फंगल अटैक, प्रोटोजोअन इंफेक्शन और तमाम रोगों से भी बचाव करता है. इसका उपयोग मिर्च, मटर और पालक जैसी हरी सब्जियों को हरा-भरा दिखाने के लिए भी किया जाता है.
नेशनल सेंटर ऑफ बायोटेक्नोलॉजी इन्फॉर्मेशन के मुताबिक, इस डाई का जहरीलापन समय और तापमान के साथ बढ़ता जाता है. ये कैंसर बनाने वाले कार्सिनोजेनेसिस, म्युटाजेनेसिस, क्रोमोसोमल फ्रैक्चर्स, टेराटोजेनेसिटी और रेस्पिरेटरी टॉक्सिटी की भी वजह बन सकता है. ये मल्टीऑर्गेन टिशू को भी नुकसान पहुंचा सकता है.
इसी तरह बाजार से खरीदी गई मिलावटी हल्दी के क्वालिटी चेक के भी बारे में बताया गया है. इसे टेस्ट करने के लिए आधे पानी से भरे दो गिलास लें. पहले गिलास में एक चम्मच शुद्ध हल्दी पाउडर डालें और दूसरे गिलास में एक चम्मच मिलावटी हल्दी पाउडर डालें.
आप देखेंगे कि शुद्ध हल्दी पाउडर पानी के नीचे बैठ जाएगा और पानी का रंग हल्का पीला होने लगेगा. जबकि दूसरे गिलास में हल्दी पूरी तरह नीचे नहीं बैठेगी और पानी का रंग भी गाढ़ पीला हो जाएगा. इससे आप समझ सकते हैं कि बाजार से खरीदी गई वो हल्दी मिलावटी है.
Detecting Artificial Colour Adulteration in Turmeric#DetectingFoodAdulterants_3@MIB_India@PIB_India @mygovindia @MoHFW_INDIA pic.twitter.com/eTJL1wJ9yT
— FSSAI (@fssaiindia) September 1, 2021
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इस तरह आप मिलावटी नमक की भी जांच कर सकते हैं. इसके लिए एक आलू को दो हिस्सों में काटें. पहले हिस्से पर शुद्ध नमक और दूसरे हिस्से पर मिलावटी नमक छिड़कें. छिड़के हुए नमक के ऊपर दो-दो बूंद नींबू का रस डालें और एक मिनट के लिए छोड़ दें. आप देखेंगे कि मिलावटी नमक के प्रभाव से आलू का अंदरूनी हिस्सा हल्का नीला या काला से पड़ने लगेगा. जबकि शुद्ध नमक से आलू में कोई बदलाव नहीं होगा.
Detecting common salt adulteration in iodised salt.#DetectingFoodAdulterants_2@MIB_India@PIB_India @mygovindia @MoHFW_INDIA pic.twitter.com/uSjDcbASPN
— FSSAI (@fssaiindia) August 25, 2021
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कुछ समय पहले MyGovIndia ने अपने ट्विटर हैंडल पर अंडे की क्वालिटी चेक पर एक वीडियो साझा किया था. इस वीडियो के मुताबिक, एक गिलास में पानी लीजिए. ध्यान रखें कि पानी का गिलास आधे से थोड़ा ज्यादा भरा होना चाहिए. इसके बाद एक अंडा लीजिए और उसे पानी में छोड़ दीजिए.
पानी में डूबने के बाद अंडा तीन पोजिशन में नजर आ सकता है. पहला, अगर अंडा पानी के तल के बिल्कुल नीचे बैठ गया है तो समझ लीजिए वो अच्छी क्वालिटी का है. इसे आप बेझिझक खा सकते हैं. लेकिन बाकी दो पोजिशन अंडे की खराब क्वालिटी की तरफ इशारा करती हैं, जिसे खाना खतरे से खाली नहीं है.
Watch this video to know how you can check the quality of the egg you are consuming at home. #PoshanMaah2020 #Local4Poshan @MinistryWCD @fssaiindia @smritiirani @DebasreeBJP @POSHAN_Official @PMOIndia @PIB_India @MIB_India pic.twitter.com/aLFNzJNPnL
— MyGovIndia (@mygovindia) September 25, 2020
यदि अंडा पानी के तल में जाकर वर्टिकली खड़ा हो जाता है तो इसका मतलब अंडा काफी पुराना है और इसे खाने से आपकी सेहत खराब हो सकती है. पानी में छोड़ने के बाद अगर अंडा पानी के सरफेस पर तैर रहा है या ऊपर आ रहा है तो वो अंदर से सड़ा हुआ हो सकता है. इन दोनों ही सूरतों में अंडा आपकी सेहत को प्रोटीन की बजाए कई सारी बीमारियां दे जाएगा.