प्यार एक ऐसा एहसास है जो बताया नहीं जा सकता, सिर्फ महसूस किया जा सकता है. हर रिश्ता प्यार और विश्वास पर ही टीका होता है, चाहें पति-पत्नी का हो या गर्ल फ्रेंड का. लेकिन जब यह प्यार ओवर पजेसिव का रूप लेता है, तो यह आपके रिश्ते को बर्बाद कर देने की क्षमता रखता है.
हाल ही में इंडियन टेनिस स्टार सानिया मिर्जा ने एक टीवी प्रोग्राम 'नो फिल्टर नेहा' में बताया कि जब भी उनके निजी जीवन की बात आती है, तो वह असुरक्षित महसूस नहीं करतीं, लेकिन वह अपने रिश्तों को लेकर काफी पजेसिव हैं.
ओवर पजेसिव नेचर का रिश्तों पर क्या होता है असर
- रिश्ते में जलन और ऑवर पजेसिव होना खुद को कमतर समझने के लक्षण हैं. विशेषज्ञों की मानें तो रिश्ते के शुरुआती दौर में पार्टनर का पजेसिव होना सबको अच्छा लगता है. पर इसका स्तर जैसे-जैसे बढ़ता है मुश्किलें बढ़ने लगती हैं.
- आमतौर पर लोगों की धारणा होती है कि अगर आपका पार्टनर आपके दिन भर के बारे में छोटी से छोटी चीज भी जानना चाहता है तो वह आपसे बेहद प्यार करता है. लेकिन कुछ समय बाद ही आपको अपने पार्टनर के इस नेचर से काफी परेशानियां हो सकती हैं. इसे समय पर नहीं पहचाना गया तो यह आपके रिश्ते को बर्बाद भी कर सकती है.
जानें पार्टनर के ऑवर पॉजेसिव होने के कारण
- पार्टनर के ओवर पजेसिव होने की सबसे बड़ी वजह इमोशनल इनसिक्योरिटी यानी भावनात्मक असुरक्षा होती है. यह इनसिक्योरिटी पार्टनर के पास होते हुए भी दूरी महसूस कराती है.
- किसी भी रिश्ते में एक पार्टनर को लग सकता है कि दूसरा पार्टनर अकेले में ही मस्त रहता है और खुद से ही संतुष्ट हो जाता है. ऐसे में दूसरा पार्टनर अकेला होने के कारण असुरक्षित महसूस करता है. इसके चलते पार्टनर को अपने करीब ना होने का एहसास ओवर पजेसिव नेचर में बदल जाता है.
पार्टनर के ऑवर पॉजेसिव नेचर का आप पर असर
अगर आपका पार्टनर ओवर पजेसिव है तो यह आपके दूसरे करीबी दोस्त और रिश्तेदारों के साथ संबंधों को खराब कर सकता है. सुखी जीवन के लिए आपको सबसे पहले हर रिश्ते की अहमियत का पता होना चाहिए. जरूरत से ज्यादा प्यार कई बार रिश्तों में तनाव पैदा कर देता है. इस कारण आपको घुटन महसूस होने लगती है, और आपके रिश्ते टूटने लग जाते हैं.