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सौदा सफर का साथ लिए लेना-देना हो मन में

मुंबई के रेलवे स्टेशन के हाल को बखूबी बयां करती एक कविता.

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Symbolic Image
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मुंबई के रेलवे स्टेशन का हाल और ट्रेन की स्थिति के बारे में तो सब जानते ही हैं. सब्र रीत जबलपुरी ( रीतेश खरे) ने मुंबई के स्टेशन की हालत को  एक कविता के जरिए मजेदार अंदाज में पेश किया है. पढ़िए ये कविता.

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जिस्मों की अदला बदली,
हर अगले स्टेशन पे
सौदा सफर का साथ लिए
लेना-देना हो मन में

चाहिए थोड़ी सी जगह
चुकाते हैं महंगे दाम
कालाबाजारी करते लोग
जरूरतें होती बदनाम
दिल काले, सूरत उजली
हैरतें अड़ियलपन पे

सौदा सफर का साथ लिए
लेना-देना हो मन में
गंध भरे पसीने से तर
कपड़ों का होता मिलना
झपकी लगी, मिलते सर
मिलते भला दो दिल न
ये चर्चगेट, वो बोरीवली
दो छोर लिखा इंजन पे

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