मध्य प्रदेश के परिवहन विभाग के पूर्व आरक्षक सौरभ शर्मा और अन्य मामलों के ईडी ने चौंकाने वाला खुलासा किया है. छापेमारी के दौरान ईडी को सौरभ और अन्य के ठिकानों से कई अहम डॉक्यूमेंट मिले हैं. साथ ही ईडी को उनके (सौरभ) सहयोगी चेतन सिंह गौर के नाम पर 6 करोड़ रुपये से ज्यादा की एफडी मिली है.
दरअसल, बीते दिनों सौरभ शर्मा और चेतन की गाड़ी से 54 किलो सोना, 11 करोड़ रुपये कैश बरामद हुए थे. इसके बाद इस मामले में ईडी ने सौरभ और अन्य मामले में भोपाल, ग्वालियर और जबलपुर के ठिकानों पर छापेमारी की थी. छापेमारी में एजेंसी को करोड़ों रुपये की चल-अचल संपत्ति से जुड़े डॉक्यूमेंट मिले हैं, जिन्हें ईडी ने जब्त कर लिया है.
ईडी ने बताया कि सौरभ शर्मा के सहयोगी चेतन सिंह गौर के नाम पर 6 करोड़ रुपये से ज्यादा की एफडी मिली है. सौरभ शर्मा के परिवार के सदस्यों और कंपनियों के नाम पर 4 करोड़ रुपये से अधिक का बैंक बैलेंस भी मिला. छापेमारी में 23 करोड़ रुपये से अधिक की अचल संपत्ति से संबंधित दस्तावेज पाए गए और उन्हें जब्त कर लिया गया हैं. ईडी ने अपनी कार्रवाई के बारे में सोशल मीडिया एक्स पर जानकारी दी है.
ED, Bhopal has conducted search operations on 27.12.2024 under the provisions of PMLA, 2002 at various premises situated in Bhopal, Gwalior and Jabalpur districts of Madhya Pradesh in the matter of Saurabh Sharma and others. During the search operations, various incriminating…
— ED (@dir_ed) December 30, 2024
डायरी से होंगे कई खुलासे
बीते दिनों सूत्रों के बताया था कि सौरभ के ठिकानों से मिली डायरियों में दिसंबर 2024 तक करीब 97 करोड़ के लेनदेन का रिकॉर्ड है, जिसकी जांच की जा रही है. फ़िलहाल सारे दस्तावेज और डायरी अभी सील हैं, लेकिन डीएसपी वीरेंद्र सिंह के नेतृत्व में डीजी लोकायुक्त ने तीन सदस्यीय टीम बनाई गई है, जो इस केस की विवेचना करेगी.
भोपाल जिला कोर्ट में दायर की याचिका
वहीं, लोकायुक्त छापे के बाद से फरार आरोपी सौरभ की ओर से भोपाल जिला कोर्ट में अग्रिम जमानत के लिए याचिका दायर की थी. सौरभ के अधिवक्ता ने अदालत में कहा कि मुझे नहीं पता सौरभ कहां है. याचिकाकर्ता की मां के कहने पर मैं ग्वालियर से भोपाल आया हूं. हमें डर है कि कहीं सौरभ का एनकाउंटर न हो जाए.
आपको बता दें कि 19 दिसंबर को लोकायुक्त ने पूर्व आरटीओ कांस्टेबल सौरभ शर्मा के घर और दफ्तर पर रेड मारी थी, जिसके बाद ED ने भी कार्रवाई करते हुए 27 दिसंबर को सौरभ शर्मा और उनके रिश्तेदारों के यहां भोपाल, ग्वालियर और जबलपुर में छापामार कार्रवाई की थी.