
MP News: नरसिंहपुर जिले में पंचायत चुनाव की घोषणा होते ही करेली जनपद अध्यक्ष पद पर एक नाम ऐसा आया कि सभी हैरान हो गए. अपना कन्यादान न कराने को लेकर चर्चित हुईं आईएएस अफसर तपस्या परिहार की छोटी बहन प्रतिज्ञा परिहार इस पद पर काबिज हुई हैं. प्रतिज्ञा परिहार यूपीएससी की तैयारी कर रही थीं, लेकिन कोरोनाकाल में गांव आ गई थीं.
जनपद पंचायत अध्यक्ष प्रतिज्ञा परिहार ने बताया कि पंचायत चुनाव के नामांकन से एक दिन पहले चाचा विनायक परिहार ने भोपाल चलकर अपनी दोबारा शुरू करने को कहा था, लेकिन मैंने मना कर दिया. इस पर चाचा ने ही मजाक में कह दिया कि तैयारी नहीं करना चाहती तो चुनाव लड़वा देते हैं. उसी दिन नरसिंहपुर विधायक जालम सिंह पटेल (केंद्रीय राज्य मंत्री प्रहलाद पटेल के भाई) घर आए थे. उनके सामने भी बात उठी. उन्होंने भी राजनीति में उतरने के लिए प्रेरित किया. कहीं न कहीं मुझे समाज के लिए काम करना था, इसीलिए राजनीति में एंट्री कर ली.
जिले के ग्राम जोबा निवासी प्रतिज्ञा की दादी देव कुंवर परिहार पहले जिला पंचायत अध्यक्ष रह चुकी हैं. इस परिवार के विश्वास परिहार और विनायक परिहार का स्थानीय राजनीति में खासा दखल है. लेकिन अचानक परिहार परिवार की बेटी का नाम आने से राजनीतिक गलियारों काफी चर्चा हो रही है.
आईएएस बनने का ख्वाब छोड़ राजनीति में सफल कदम रखने वाली प्रतिज्ञा परिहार ने कहा कि किसी भी चुनाव में निर्विरोध चुना जाना बहुत ही कठिन होता है, लेकिन सभी ने समर्थन से यह संभव हो गया. उन्होंने बताया कि पापा विश्वास परिहार की इच्छा थी कि एक भाई और दो बहनों में से एक कोई राजनीति में आए. बता दें कि जनपद अध्यक्ष बन चुकीं प्रतिज्ञा की बड़ी बहन तपस्या ने UPSC 2018 बैच में ऑल इंडिया 23वीं रैंक हासिल की थी. IAS तपस्या इन दिनों बड़वानी जिले के सेंधवा में एसडीएम हैं. जबकि छोटा भाई विकल्प परिहार दिल्ली के थिएटर जगत में सक्रिय है.
पता हो कि पिछले साल IAS तपस्या परिहार अपनी शादी के दौरान काफी चर्चा में आई थीं. IAS तपस्या ने IFS अफसर गर्वित गंगवार से शादी रचाई है. तपस्या परिहार ने अपनी शादी के दौरान कन्यादान की रस्म कराने से इनकार कर दिया था. उस दौरान पिता विश्वास परिहार से तपस्या ने कह दिया था, ''मैं दान की चीज नहीं हूं, आपकी बेटी हूं. शादी के बाद दो परिवार एक हो रहे हैं. ऐसे में दान की बात कहां से आती है. मुझे ऐसी चीजें शुरू से पसंद नहीं हैं.'' हालांकि, शादी में कन्यादान जैसी रस्म को ठुकराने पर आईएएस तपस्या परिहार को लेकर सोशल मीडिया पर काफी वाद-विवाद छिड़ गया था.