मुरैना के जिला अस्पताल में बड़ी लापरवाही सामने आई है. यहां नसबंदी के ऑपरेशन के बाद महिलाओं को जमीन पर ही लिटा दिया गया. इस वजह से सर्दी के मौसम में महिलाएं दर्द के साथ-साथ सर्दी से भी परेशान नजर आईं.
दरअसल, जिला अस्पताल में महिलाओं का नसबंदी ऑपरेशन किया गया था. इसके बाद अस्पताल के स्टाफ ने महिलाओं को भर्ती कर लिया. मगर, उन्हें पलंग उपलब्ध नहीं कराया गया. ऑपरेशन के बाद ज्यादातर महिलाओं को पलंग नहीं दिया गया. कुछ महिलाओं को पलंग दिया गया, लेकिन एक पलंग पर दो-दो महिलाओं को लेटना पड़ा.
अस्पताल में महिलाएं दर्द से कराहती रहीं
सर्दी के इस मौसम में ऑपरेशन के बाद महिलाएं फर्श पर लेटी हुई नजर आईं. उनके साथ मौजूद परिजन महिलाओं को जमीन पर लेटा देखकर परेशान दिखे. जमीन पर लेटी नसबंदी वाली महिलाएं ठंड से जब ठिठुर रही थीं, तो उनके परिजन उन्हें कंबल से ढंक रहे थे, ताकि उन्हें ठंड न लगे. नसबंदी के बाद महिलाएं दर्द से कराह रही थीं.
अस्पताल प्रबंधन ने आरोपों को नकारा
हालांकि, अस्पताल के अन्य वार्डों में कई पलंग खाली पड़े दिखे, लेकिन इन पलंगों पर महिलाओं को नहीं लिटाया गया. अस्पताल प्रबंधन की लापरवाही के चलते सर्दी के मौसम में ऑपरेशन के बाद महिलाएं जमीन पर लेटने को मजबूर हो गईं. वहीं, अस्पताल प्रबंधन का कहना था कि उनके पास पर्याप्त पलंग नहीं हैं.
मामले में जिला अस्पताल मुरैना के आरएमओ सुरेंद्र सिंह गुर्जर ने बताया, "हमारे जिला अस्पताल मुरैना में नसबंदी के कैंप चल रहा है. इसमें जो महिलाएं आती हैं, उनका पूरा परीक्षण करने के बाद ऑपरेशन किया जाता है. उन्हें पलंग पर लिटाया जाता है और इसके बाद उन्हें भेज दिया जाता है.
अगर कोई एक्स्ट्रा महिला आ गई होगी और स्टाफ नहीं देख पाया होगा, तो वह नीचे लेट गई होगी. हमारे पास पर्याप्त पलंग हैं. अस्पताल में सभी व्यवस्थाएं हैं."