आज दुनिया भर ने योग दिवस मनाया लेकिन एनडीए के पार्टनर नीतीश कुमार योग दिवस के कार्यक्रम में शामिल नहीं हुए. वैसे तो इस कार्यक्रम में शामिल न होने पर जेडीयू की दलील ये है कि नीतीश कुमार के लिए योग करना निजी बात है, लेकिन क्या ये दलील गले उतरती है, ख़ासकर तब जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी हर साल की तरह इस बार भी इसे लेकर काफी उत्साहित दिखे हों. नीतीश पिछले साल के योग दिवस के बाद एनडीए में दोबारा शामिल हुए हैं. इसलिए इस बार उम्मीद थी कि वो योग दिवस से दूर रहने का अपना हठ छोड़ेंगे. लेकिन ऐसा नहीं हुआ. साथ ही नीतीश कुमार ने पिछले कुछ दिनों में ऐसे बयान दिए हैं या मांगें सामने रखी हैं जिससे बीजेपी के लिए असहज स्थिति पैदा हो रही है. मसलन- बिहार के विशेष दर्जे की मांग और नोटबंदी को लागू किए जाने के तरीके पर सवाल.