रेल हादसे होते हैं, तो होते रहें. ममता का ध्यान बंगाल से नहीं भटकेगा. सांइथिया हादसे के दो दिन बाद ही तृणमूल कांग्रेस की कोलकाता में विशाल रैली हुई. पार्टी कहती है कि ये दिन बरसों पहले मारे गए कार्यकर्ताओं की याद के लिए है. सवाल ये है कि उन लोगों का क्या, जो 2 दिन पहले ही जान गंवा बैठे.