भारत में पिछले दो दिन से लोग नोट गिनने में लगे हैं, तो नेता अपनी चोट गिनने में लगे हैं. क्योंकि काले धन के नल बंद करने से राजनीति की वो ज़मीन शायद सूख जाए. जिसमें नोट के ज़रिए वोट की फसल लहलहाई जाती रही है. क्योंकि ऐसा लग रहा है कि नोटबंदी पर पब्लिक से ज़्यादा परेशान तो हमारे नेता हो गए हैं.