ईश्वर ने मनुष्य बनाया और उसे कर्म करने के लिए छोड़ दिया. यह हमारे कर्म ही हैं, जो हमें अच्छा या बुरा बनाते हैं. हमारा भाग्य हमारे कर्मों पर निर्भर है और यही जीवन में खुश रहने और सफल होने का मंत्र है.