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मैं भाग्य हूं: विपरीत हालात का डटकर करें सामना

मैं भाग्य हूं: विपरीत हालात का डटकर करें सामना

भाग्य क्या इंसान के जीवन में सबकुछ कर देने वाला नियामक है? भाग्य से क्या चाहिए ये इंसान को खुद तय करना होता है. इंसान को हालात के मुताबिक खुद को ढालना चाहिए.  

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