शराफ़त को धोखा तो अक्सर हो जाता है, लेकिन अगर धोखे को धोखा हो जाए तो क्या हो? आज वारदात में बात एक ऐसी ही कहानी की, जिसमें पहले दोस्ती आई, उसके बाद मोहब्बत और फिर नफ़रत और आखिर में धोखा. लेकिन ये धोखा इस कहानी का अंत नहीं था, बल्कि इस धोखे के बाद हुआ एक और धोखा.