सड़क पर जन लोकपाल की लड़ाई लड़ने वाली पूर्व टीम अन्ना आंदोलन के दूसरे चरण में दोराहे पर खड़ी थी और अब इस टीम का टकराव चौराहे पर है. पूरे देश में राजनीतिक क्रांति की हुंकार उस शोर में गुम हो चुकी है, जो अन्ना के सिपहसालारों के बीच पैदा हुई दरार से उभर रही है. जिस आंदोलन से पूरे देश को जोड़ने का इरादा था, उसी आंदोलन के अगुआ अब बिछड़ चुके हैं बारी-बारी.