कभी मैदान में तो कभी समंदर के पास तो कभी पहाड़ पर. इस बार तो सैलाब ने मानो त्राहिमाम की सारी हदें तोड़ने का इरादा कर लिया है. उत्तराखंड में गंगा खतरे के निशान को छू रही है तो मैदान से लेकर रेगिस्तान तक पानी ना जाने किस मनमानी पर उतर आया है.