राजस्थान के जोधपुर में अतिरिक्त सिटी मजिस्ट्रेट (ACM) रही प्रियंका बिश्नोई का निधन हो गया. प्रियंका का अंतिम संस्कार फलोदी के सुरपुरा (ससुराल) में होगा. राजस्थान प्रशासनिक सेवा की यह महिला अधिकारी पिछले दिनों ही अपने संघर्ष से सफलता की कहानी के साथ मोटिवेशनल स्पीच देकर चर्चा में आई थीं. प्रियंका के भाषण का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल है.
जोधपुर में कुछ दिन पहले ही समराथल फाउंडेशन का कार्यक्रम हुआ था. बतौर अतिथि प्रियंका विश्नोई ने अपने अधिकारी बनने के लक्ष्य की कहानी को बताया था और मौजूद बच्चों समेत अभिभावकों को प्रेरणा दी.
प्रियंका बिश्नोई के मुताबिक, जब वह 8वीं कक्षा में थीं तो एक प्रतियोगिता में उन्होंने तीसरा स्थान हासिल किया था. उस दौरान उपखंड अधिकारी से सम्मानित होने का मौका मिला था. अधिकारी की बत्ती लगी गाड़ी देखकर उनका बालमन सम्मोहित हो गया. हालांकि, कुछ घंटों और कुछ दिनों में बत्ती वाली गाड़ी की स्मृति धूमिल हो गई. 10वीं कक्षा में फिर से मौके जिला कलेक्टर के हाथों प्रियंका को सम्मानित होने का मौका मिला. उस वक्त उन्होंने सरकारी अधिकारी बनने का तय किया. लेकिन तमाम छात्र-छात्राओं की तरह फिर वह अपने लक्ष्य को भूल गईं.
10वीं कक्षा के बाद ऐच्छिक विषय चयन का प्रश्न खड़ा हुआ तो प्रियंका की कुछ सहेलियों ने साइंस विषय चुना. उन्हें देखकर प्रियंका ने भी साइंस लेकर इंजीनियर बनने का ऐलान कर दिया. उस वक्त बहुत सारे प्रश्न आए कि लड़की इंजीनियरिंग करके क्या करेगी? वहां पिता ढाल बने और प्रियंका ने इंजीनियरिंग पूरी कर ली. 4 साल की पढ़ाई करने के बाद परिजनों से विचार विमर्श करने के बाद बैंक की तैयारी करने का फैसला लिया.
बैंक परीक्षा के लिए जाति प्रमाण पत्र बनवाना था तो प्रियंका को एक बार एसडीएम के कार्यालय जाने का मौका मिला. कार्यालय के बाहर भीड़ को देखकर लगा कि इस पद के लिए कोशिश करनी चाहिए. इसके लिए परिजनों की सहमति मिली और प्रियंका जयपुर में राजस्थान लोक सेवा आयोग की परीक्षा की तैयारी करने जुट गईं. देखें Video:-
साल 2013 के आरएएस परीक्षा परिणाम में प्रियंका बिश्नोई ने 77वीं रैंक हासिल की तो राजस्थान लेखा सेवा में नौकरी मिली. दोबारा 2016 में परीक्षा देने पर राजस्थान प्रशासनिक सेवा में चयन हो गया. इसके बाद 2017 में डूंगरपुर में प्रोबेशन पोस्टिंग मिली. 2019 में एसडीएम चुरू, 2022 में विजयनगर एसडीएम और 2024 में एसीएम यानी असिस्टेंट कलेक्टर जोधपुर रहीं. हाल ही में प्रियंका का ट्रांसफर जोधपुर नगर निगम में उपायुक्त पद पर हुआ था, लेकिन बीमारी के कारण वह कार्यभार ग्रहण नहीं कर पाई थीं.
इलाज में लापरवाही का आरोप
प्रियंका बिश्नोई ने जोधपुर के वसुंधरा हॉस्पिटल में बच्चेदानी का ऑपरेशन करवाया था, लेकिन हालत बिगड़ने के बाद उन्हें अहमदाबाद के सिम्स ले जाया गया था. परिवार ने जोधपुर के डॉक्टर पर इलाज में लापरवाही का गंभीर आरोप लगाया है. कलेक्टर के आदेश पर मामले की जांच की जा रही है.
यूजर्स बोले- आज भी कानों में गूंज रहा भाषण
बीते कुछ दिनों से उनके इलाज में जोधपुर के वसुंधरा हॉस्पिटल के डॉक्टर पर लापरवाही का आरोप लगा था. प्रियंका बिश्नोई की मौत की खबर सामने आने के बाद सोशल मीडिया पर लोग हजारों पोस्ट कर रहे हैं और जिम्मेदार डॉक्टरों पर कार्रवाई की मांग की जा रही है.
सोशल मीडिया यूजर्स लिख रहे हैं कि राजस्थान प्रशासनिक सेवा की अधिकारी प्रियंका बिश्नोई का असमय इस दुनिया से चले जाना अत्यंत हृदयविदारक है. समराथल फाउंडेशन के मंच से दिया गया उनका प्रभावी उद्बोधन आज भी कानों में गूंज रहा है.
बिश्नोई समाज के राष्ट्रीय अध्यक्ष देवेंद्र बुडिया ने अपने समाज की प्रतिभावान बेटी की मौत पर मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा से पूरे मामले की सीबीआई जांच कराने की मांग की है.
उधर, जोधपुर में वसुंधरा हॉस्पिटल के संचालक डॉक्टर संजय मकवाना ने बताया कि 5 सितंबर को सर्जरी के बाद प्रियंका शाम और पूरी रात ठीक थीं. सुबह उन्हें चिड़चिड़ापन महसूस हुआ, जिसके लिए रक्त परीक्षण किए गए, जिसमें कुछ इलेक्ट्रोलाइट असंतुलन दिखाया गया, जिसके लिए उन्हें आईसीयू में स्थानांतरित कर दिया गया और आगे की जांच की गई. लेकिन उनका चिड़चिड़ापन जारी रहा.
इस बीच, सोनोलॉजिस्ट ने किसी भी कारण का पता लगाने के लिए पेट का स्कैन किया. हृदय रोग विशेषज्ञ ने किसी भी विकृति को दूर करने के लिए इकोकार्डियोग्राफी भी की. चिड़चिड़ापन और बेचैनी का कारण जानने के लिए न्यूरोलॉजिस्ट को बुलाया गया.
इस बीच परिजनों ने आगे के इलाज के लिए रोगी को अहमदाबाद ले जाने का अनुरोध किया. वहां पहुंचने पर सीटी स्कैन ने मस्तिष्क में अलग-अलग रक्तस्राव दिखाया, जो मुख्य रूप से एवी विकृति (जन्मजात विकृति) के कारण है.
बिश्नोई समाज की धरना प्रदर्शन
वहीं, प्रियंका बिश्नोई का शव गुरुवार सुबह अहमदाबाद से जोधपुर पहुंचा. एम्स हॉस्पिटल की मोर्चरी में पोस्टमार्टम हो चुका है. लेकिन बिश्नोई समाज के लोगों की मांग है कि वसुंधरा हॉस्पिटल के खिलाफ केस दर्ज किया जाए. इसे लेकर सैकड़ों की तादाद में समाज के लोग धरने पर बैठे हैं.
ससुराल में अंतिम संस्कार
उधर, प्रियंका के फलोदी स्थित ससुराल सुरपुरा गांव में अंतिम संस्कार की तैयारियां चल रही हैं. मूलत: बीकानेर के नोखा की रहने वाली प्रियंका की साल 2017 में फलोदी के विक्रम बिश्नोई से शादी हुई थी. उनके पति विक्रम सिंह फलोदी में आबकारी इंस्पेक्टर हैं.
(इनपुट: अशोक शर्मा)