राजस्थान की धौलपुर पुलिस ने तीन राज्यों का मोस्टवांटेड और एक लाख पांच हजार रुपये के इनामी डकैत धर्मेंद्र उर्फ लुक्का को दो साथियों के साथ मुठभेड़ के दौरान गिरफ्तार किया है. पुलिस ने डकैतों के कब्जे से एक 306 बोर राइफल, 1 सिंगल शॉट 315 बोर, 1 सिंगल शॉट 306 बोर, 2 देशी पिस्तौल और पांच दर्जन से अधिक कारतूस बरामद किए हैं.
धौलपुर एसपी सुमित मेहरड़ा ने बताया कि एडीजी क्राइम दिनेश एमएन के निर्देशन में अपराधियों की धरपकड़ के लिए विशेष अभियान चलाया जा रहा है. ऑपरेशन के दौरान तीन राज्यों का मोस्टवांटेड डकैत धर्मेंद्र उर्फ लुक्का का गैंग लंबे समय से फरार चल रहा था. पुलिस डकैत को पकड़ने के लिए लगातार प्रयास कर रही थी.हाल ही में डकैत धर्मेंद्र उर्फ लुक्का की गिरफ्तारी के लिए एडीजी क्राइम द्वारा एक लाख का इनाम और एमपी की मुरैना पुलिस द्वारा पांच हजार का इनाम घोषित किया गया था.
डकैत गिरोह को पकड़ने के लिए पुलिस की डीएसटी और क्यूआरटी टीम के साथ साइबर सेल विशेष निगरानी रख रही थी. शनिवार को धौलपुर पुलिस को मुखबिर से गुप्त सूचना मिली कि डकैत धर्मेंद्र गिरोह नियति के जंगलों में देखा गया है. मुखबिर की सूचना पर बाड़ी सीओ नरेंद्र कुमार के नेतृत्व में डीएसटी, क्यूआरटी, बाड़ी, सदर, बासीडेंग, सोने का गुर्जा, दिहौली थाना पुलिस को संयुक्त कार्रवाई के लिए भेजा गया.
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इसके बाद पुलिस टीम मौके पर पहुंची और डकैत गिरोह को आत्मसमर्पण करने के लिए कहा, लेकिन डकैत धर्मेंद्र और उसके साथियों ने पुलिस को निशाना बनाकर अंधाधुंध फायरिंग शुरू कर दी. वहीं, पुलिस टीम ने भी आत्मरक्षा में डकैत गिरोह पर फायरिंग की. पुलिस की ओर से 50 राउंड और डकैतों की ओर से करीब 40 राउंड फायरिंग की गई. फायरिंग के दौरान पुलिस ने घेराबंदी कर डकैत धर्मेंद्र उर्फ लुक्का, उसके साथी रामबृज और रामू को पकड़ लिया. मुठभेड़ के दौरान पुलिस ने गिरोह के दो नाबालिग साथियों को भी हिरासत में लिया है.
'डकैत धर्मेंद्र के खिलाफ कुल 37 आपराधिक मामले दर्ज'
डकैत धर्मेंद्र के खिलाफ धौलपुर, मध्य प्रदेश और उत्तर प्रदेश में कुल 37 आपराधिक मामले दर्ज हैं. उसके खिलाफ डकैत धर्मेंद्र की हत्या का प्रयास, लूट, रंगदारी, सरकारी काम में बाधा, मारपीट जैसे आरोप हैं. 3 राज्यों के इनामी डकैत धर्मेंद्र ने साल 2009 में अपराध की दुनिया में कदम रखा था और वर्तमान में वह काफी सक्रिय अपराधी है. डकैत लुक्का एमपी के मुरैना, राजस्थान के धौलपुर और यूपी के आगरा में वारदात को अंजाम दे चुका है. इस पर करीब 37 मामले दर्ज हैं.
धर्मेंद्र उर्फ लुक्का क्यों बना डकैत?
धौलपुर जिले के गांव मौरोली के देव का पुरा निवासी विजय सिंह के पुत्र धर्मेंद्र सिंह गुर्जर पांचवीं कक्षा तक पढ़ा है. साल 2008 में जमीन विवाद को लेकर धर्मेंद्र के बड़े भाई की उसके साले ने हत्या कर दी थी. अपने भाई का बदला लेने के लिए धर्मेंद्र ने बंदूक उठाई और अपने भाई के साले की गोली मारकर हत्या कर दी. इसके बाद 2009 में हत्या करने के बाद धर्मेंद्र चंबल के बीहड़ों में कूद गया. चंबल के बीहड़ों ने धर्मेंद्र को लुक्का के नाम से पहचान दी. लुक्का ने लूट, अपहरण, रंगदारी, मारपीट जैसे गंभीर अपराध करने शुरू कर दिए और एक गिरोह बना लिया.

साल 2017 में वह पैरोल से भाग गया और फिर से बीहड़ में कूद गया. साल 2020 में लुक्का ने अपने साथियों के साथ मिलकर चंबल के बीहड़ों के स्थानीय नेताओं को गालियां देते हुए वीडियो वायरल किया था. 3 जुलाई 2020 को तत्कालीन एसपी मृदुल कछावा ने 35 हजार रुपए के इनामी बदमाश लुक्का को पकड़ा था. इसके गिरोह के सदस्य भी पकड़े गए.
'जमानत पर आने के बाद लुक्का फिर हो गया सक्रीय'
मार्च 2021 में जिले के सैपऊ थाना क्षेत्र के एनएच 123 पर पार्वती नदी पुल के पास पांच बदमाशों ने रोडवेज बस में चढ़कर धौलपुर न्यायालय से पेशी कर वापिस भरतपुर की सेवर जेल जा रहे धर्मेंद्र उर्फ लुक्का को पुलिस की आंखों में मिर्ची पाउडर फेंककर छुड़ाने का प्रयास किया था, लेकिन छुड़ा नहीं पाए थे. जेल से जमानत पर आने के बाद लुक्का फिर से अपराध की दुनिया में सक्रीय हो गया.