राजस्थान के भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो (एसीबी) की जयपुर टीम ने दो करोड़ की रिश्वत के मामले में एसओजी की एडिशनल एसपी दिव्या मित्तल को अरेस्ट किया था. आरोप है कि दिव्या मित्तल ने ड्रग्स केस से दवा व्यापारी का नाम हटाने के एवज में उदयपुर नेचर हिल रिजॉर्ट में बुलाया था और डरा धमका कर 2 करोड़ रुपए की रिश्वत मांगी थी.
इस मामले में प्रशासन ने रिजॉर्ट को खाली करने के आदेश दे दिए थे. अब यूआईटी के अधिकारी रिजॉर्ट पर बुलडोजर चला रहे हैं. करोड़ों का रिजॉर्ट मलबा हो रहा है.
बता दें कि दिव्या मित्तल की पहली पोस्टिंग उदयपुर में हुई थी. यहां वह कई पदों पर रहीं. इसके बाद टोंक जिले में कुछ महीने रहीं. टोंक के बाद उन्हें अजमेर एसओजी की एसपी बनाया गया. दिव्या मित्तल वहां रिश्वतखोरी के आरोप में गिरफ्तार कर ली गईं.
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उदयपुर पुलिस से बर्खास्त चल रहा है देखरेख करने वाला सुमित
उदयपुर के इस रिजॉर्ट का मैनेजमेंट उदयपुर पुलिस का बर्खास्त कॉन्स्टेबल सुमित कुमार करता था. सुमित दिव्या मित्तल का खास बताया जा रहा है. दिव्या मित्तल का ट्रांसफर टोंक हो गया था, उसके बाद अजमेर तबादला हुआ तो उदयपुर की प्रॉपर्टी की देखरेख सुमित के हवाले थी. आरोप है कि दिव्या मित्तल के कहने पर दवा व्यापारी को उदयपुर बुलाकर सुमित ने ही डराया धमकाया था.
सूत्रों की मानें तो दिव्या मित्तल का अपने पति से बहुत पहले तलाक हो चुका है. उदयपुर पुलिस के बर्खास्त कॉन्स्टेबल सुमित कुमार से दिव्या के काफी करीबी संबंध बताए जा रहे हैं. ऐसे में एएसपी दिव्या के दम पर ही सुमित रौब दिखाता था.
2021 में भारी मात्रा में ड्रग्स मामले की जांच कर रही थीं एएसपी दिव्या मित्तल
दरअसल, दिव्या मित्तल साल 2021 में ड्रग्स बरामदगी को लेकर जांच कर रही थीं. परिवादी का उसी ड्रग्स केस में नाम था, जिसे हटाने के एवज में उससे दो करोड़ की रिश्वत मांगी गई थी. जब इतनी बड़ी रकम परिवादी से मांगी गई तो उसने देने से इनकार कर दिया.
आरोप है कि दवा व्यापारी ने जब कहा कि दो करोड़ रुपए ज्यादा हैं, कम कर लो. इस पर दिव्या मित्तल ने कहा था कि यह सब्जी की दुकान नहीं है, हमें आगे तक पैसा पहुंचाना होता है. इसके बाद परिवादी को उदयपुर भेजा और वहां सुमित कुमार ने डरा धमकाकर रिश्वत की डिमांड की, लेकिन इसकी भनक लगते ही दिव्या मित्तल को गिरफ्तार कर लिया गया.