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Makar Sankranti 2023: मकर संक्रांति पर गोरखनाथ मंदिर में ऐसे मनेगा खिचड़ी मेला, सुरक्षा के हैं पुख्ता इंतजाम

सनातन धर्म में मकर संक्रांति को बहुत महत्व दिया जाता है. सूर्य जब मकर राशि में प्रवेश करते हैं तब मकर संक्रांति का त्योहार मनाया जाता है. इस साल मकर संक्रांति का पर्व 15 जनवरी 2023 को मनाया जाएगा. वहीं गोरखपुर के गोरखनाथ मंदिर में मंकर संक्रांति के दिन भगवान गोरक्षनाथ को खिचड़ी चढ़ाई जाती है. यहां इस त्योहार को बड़े ही धूमधाम के साथ मनाया जाता है.

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उत्तर प्रदेश के प्रसिद्ध गोरखनाथ मंदिर में मकर संक्रांति यानी खिचड़ी का त्योहार 15 जनवरी 2023 (रविवार) को मनाया जाएगा. 15 जनवरी की प्रथम बेला यानि की भोर से ही श्रद्धालु बाबा गोरक्षनाथ को खिचड़ी चढ़ाना प्रारम्भ कर सकते हैं. गोरखनाथ मंदिर परिसर में मकर संक्रांति से शुरू होकर एक महीने तक खिचड़ी मेला चलता है जो विश्व प्रसिद्ध है. इस मेले में उत्तर प्रदेश, बिहार से लेकर नेपाल तक के लोग शामिल होते हैं. इस दौरान लोग भगवान गोरक्षनाथ को खिचड़ी चढ़ाते हैं और अपनी मनोकामनाएं मांगते हैं. यह मेला श्रद्धा, भक्ति और मनोरंजन का संगम होता है.

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15 जनवरी को चढ़ेगी बाबा गोरखनाथ को खिचड़ी

पूरी प्रकृति को ऊर्जावान करने वाले सूर्यदेव के उत्तरायण होने पर खिचड़ी चढ़ाने की त्रेतायुगीन यह अनूठी परंपरा प्राचीन समय से चली आ रही है. गोरखनाथ मंदिर में भी खिचड़ी चढ़ाने की परंपरा त्रेतायुगीन मानी जाती है. मकर संक्रांति के दिन भोर में चार बजे सबसे पहले गोरक्षपीठ की तरफ से पीठाधीश्वर योगी आदित्यनाथ खिचड़ी चढ़ाकर बाबा को भोग अर्पित करते हैं. तत्पश्चात नेपाल राजपरिवार की ओर से आई खिचड़ी बाबा को चढ़ाई जाती है. इसके बाद मंदिर के कपाट खोल दिए जाते हैं और जनसामान्य की आस्था खिचड़ी के रूप में निवेदितहोनी शुरू हो जाती है.

गोरक्षपीठ के प्रधान पुरोहित आचार्य रामानुजत्रिपाठी के अनुसार संवत 2079, शक 1944 माघ मास, कृष्ण पक्ष अष्टमी तिथि के ब्रह्म मुहूर्त में तीन बजकर दो मिनट पर सूर्य धनुराशि से मकर राशि मे प्रवेश करेंगे. इस पर्व पर ऊनी वस्त्र, तेल, घी, तिल, गुड़ आदि द्रव्यों का दान करना श्रेयस्कर होता है.

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मकर संक्रांति के पावन पर्व पर गोरक्षपीठाधीश्वरनाथ पंथ की विशिष्ट परंपरानुसार शिवावतारी गुरु गोरखनाथ को लोक आस्था की खिचड़ी चढ़ाकर समूचे जनमानस की सुख समृद्धि की मंगलकामना करते हैं. गोरखनाथ मंदिर में खिचड़ी के रूप में चढ़ाए जाने वाला अन्न वर्षभर जरूरतमंदों में वितरित भी किया जाता है.इसीलिए तो मंदिर के अन्न क्षेत्र में कभी भी कोई पहुंचा जरूरतमंद खाली हाथ नहीं लौटता. मान्यता है कि इसी तरह बाबा गोरखनाथ को खिचड़ी चढ़ाकर मन्नत मांगने वाला भी कभी निराश नहीं होता.

खिचड़ी मेले के लिए तैयारियां पूरीं

खिचड़ी महापर्व को लेकर मंदिर और मेला परिसर सज धजकर तैयार हो रहा है. यहां श्रद्धालुओं के आने का सिलसिला एक दिन पूर्व ही प्रारम्भ हो जाता है. वहीं, मंदिर प्रबंधन की तरफ से उनके ठहरने और अन्य सुविधाओं का पूरा इंतजाम किया जाता है. 

क्या रहेंगे इस बार सुरक्षा के इंतजाम

गोरखनाथ मंदिर में खिचड़ी मेला के आयोजन को लेकर गुरुवार को एडीजी अखिल कुमार ने सुरक्षा व्यवस्था ड्यूटी में लगे पुलिस बलऔर मजिस्ट्रेट को ब्रीफ किया. अधिकारियों ने सब को अपनी-अपनी ड्यूटी और मेले परिसर में पोजिशन के बारे में जानकारी दी. मेले में आने वाले सभी श्रद्धालुओं को किसी प्रकार की कोई असुविधा ना हो इसके लिए एडीजी ने सभी को सुगमता के साथ ड्यूटी के हिसाब से कर्तव्यों का निर्वहन करने को कहा. इस मौके पर एसएसपी डॉ गौरव ग्रोवर ने बताया कि सुरक्षा के लिहाज से बने प्लान में पुलिस व्यवस्था को तीन सुपर जोन, 10 जोन और 25 सेक्टर में बांटा गया है. सुपर जोन के प्रभारी अपर पुलिस अधीक्षक रैंक के अधिकारी हैं.

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गोरखनाथ मंदिर

वहीं जोन के प्रभारी सीओ रैंक के अधिकारी व सेक्टर के प्रभारी इंस्पेक्टर रैंक के अधिकारी को बनाया गया है. इनके साथ भारी संख्या में आरक्षी व मुख्य आरक्षी का विशेष रूप से महिला दरोगा व महिला रक्षकों की ड्यूटी लगाई गई है.

ड्रोन से रखी जाएगी हर गतिविधि पर नजर

एसएसपी डॉ गौरव ग्रोवर ने यह भी बताया कि खिचड़ी मेले के मुख्य आयोजन के साथ पूरे शहर की सुरक्षा चाक-चौबंद रहेगी. सिविल पुलिस के साथ-साथ पीएसी बल की भी ड्यूटी यहां पर लगाई गई है. सुरक्षा को और सुदृढ़ करने के लिए एलआईयू को भी लगाया गया है. जबकि एटीएस की भी एक पूरी टीम आयोजन को सुरक्षित करने के लिए लगाई गई है. इसके अलावा बड़े पैमाने पर सीसीटीवी कैमरा सिस्टम और ड्रोन का इस्तेमाल किया जाएगा.

सामाजिक समरसता का केंद्र है गोरखनाथ मंदिर
गोरखनाथ मंदिर सामाजिक समरसता का ऐसा केंद्र है जहां जाति, पंथ, महजब की बेड़ियां टूटती नजर आती हैं. इसके परिसर में सबकी दुकानें रहती हैं. यानी बिना भेदभाव सबकी रोजी रोटी का इंतजाम है. यही नहीं, मंदिर परिसर में माह भर से अधिक समय तक लगने वाला खिचड़ी मेला भी जाति-धर्म के बंटवारे से इतर हजारों लोगों की आजीविका का माध्यम बनता है. मेले में खरीदारी से लेकर मनोरंजन के साधनों तक भरपूर इंतज़ाम होता है. तरह-तरह के झूले और करतब देखकर बच्चों की खुशी का कोई ठिकाना नहीं होता है.

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खिचड़ी के लिए गोरखनाथ मंदिर में सुरक्षा कड़ी

खिचड़ी मेले की हर व्यवस्था पर है CM योगी की नजर
मुख्यमंत्री एवं गोरक्षपीठाधीश्वर योगी आदित्यनाथ ने गोरखनाथ मंदिर में मकर संक्रांति पर लगने वाले विश्व प्रसिद्ध खिचड़ी मेले में श्रद्धालुओं की सुरक्षा, सुविधा और सहूलियत सुनिश्चित कराने के पहले ही निर्देश दे दिए थे. वो मकर संक्रांति पर होने वाले पर्व की हर व्यवस्था पर लगातार नजर बनाए हुए हैं. श्रद्धालुओं के प्रति उनकी संवेदनशीलता का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि बीते चार दिन में उन्होंने दो बार रात्रिकालीन निरीक्षण किया है. 

शुक्रवार को गोरखपुर पहुंचे सीएम योगी गोरखनाथ मंदिर में गुरु गोरक्षनाथ का दर्शन पूजन करने तथा अपने गुरुदेव ब्रह्मलीन महंतअवेद्यनाथ की समाधि पर मत्था टेकने के बाद निषाद पार्टी के संकल्प दिवस समारोह और गोरखपुर महोत्सव के समापन समारोह में मुख्य अतिथि के रूप में सम्मिलित हुए. शाम को मंदिर वापस लौटने के बाद से ही वह खिचड़ी मेले की तैयारियों का जायजा लेने में जुट गए. चूंकि श्रद्धालुओं का रेला बाबा गोरखनाथ की पावन तपोभूमि पर अभी से आने लगा है, इसलिए तैयारियों को अंतिम रूप देने के सिलसिले को आगे बढ़ाते हुए उन्होंने रात्रिकालीन निरीक्षण भी किया.  

मुख्यमंत्री ने बीती रात दिया यह आदेश
मुख्यमंत्री ने खोया-पाया केंद्र, अस्थायी चिकित्सालय और अन्य शिविरों की गहन पड़ताल की. उन्होंने अधिकारियों को निर्देशित किया कि मेडिकल और बाकी सभी सुविधाओं की जानकारी का अधिकाधिक प्रसार किया जाए. उन्होंने समूचे मंदिर और मेला परिसर में साफ सफाई, सुरक्षा समेत सभी सुविधाओं को लेकर भी जरूरी निर्देश दिए. उन्होंने बाहर से आने वाले श्रद्धालुओं के ठहरने के लिए रैन बसेरों में बेहतरीन व्यवस्था करने के भी इंतजाम किए. 

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