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रायपुर में 500 सालो से निकल रही जगन्नाथ यात्रा, 29 जून को होगा भगवान का नगर भ्रमण

पिछले 500 सालों से रायपुर में जगन्नाथ यात्रा निकाली जा रही है. इसबार 29 जून को यह उत्सव मनाया जाएगा.

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छत्तीसगढ़ के रायपुर में पुरानी बस्ती स्थित टुरी हटरी का ऐतिहासिक जगन्नाथ मंदिर लगभग 500 साल पुराना माना जाता है. यहां से निकलने वाली रथयात्रा में शामिल होने और भगवान का रथ खींचने के लिए राजधानी के आसपास से हजारों श्रद्धालु उमड़ते हैं. रथ को खींचने का मौका मिले तो श्रद्धालु खुद को भाग्यशाली समझते हैं और भीड़ के कारण मौका नहीं मिले तो भी वे रथ की रस्सी को कम से कम छूने का अवसर ढूंढ़ते रहते हैं. इसी कोशिश में रथ जहां-जहां से गुजरता है, वहां तक जाने से भी पीछे नहीं हटते.श्रद्धालुओं का मानना है कि ऐसा करने से उनके पाप और कष्ट दूर होते हैं और पुण्य मिलता है.

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रथयात्रा के लिए पूरे मंदिर परिसर में रंगरोगन का काम जोरशोर से चल रहा है. वहीं भगवान के नगर भ्रमण के लिए मंदिर के पुराने रथ की मरम्मत का काम बुधवार से शुरू हो गया. इसके लिए हर साल की तरह ओडि़शा से कारीगर आए हैं, जो रथ को रथयात्रा के दो दिन पहले पूरी तरह से तैयार कर देंगे.

जगन्नाथ मंदिर के पुजारी पंडित महेन्द्र शर्मा ने बताया कि स्नान पूर्णिमा के दिन भगवान को स्नान कराने की परंपरा निभाई गई थी. फिलहाल भगवान बीमार अवस्था में हैं, जिसके चलते मंदिर के पट बंद कर दिए गए हैं. फिलहाल भगवान के निविग्रह की पूजा-अर्चना हो रही है. भगवान को बीमारी से ठीक करने के लिए उन्हें रथयात्रा के तीन दिन पहले से काढ़ा पिलाने की रस्म निभाई जाएगी.

पढ़ें: भगवान जगन्नाथ हुए बीमार, मंदिर के पट बंद

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पुजारी शर्मा के अनुसार भगवान की बीमारी की अवस्था में पिलाई जाने वाली औषधियों में आमी हल्दी, सोंठ, कालीमिर्च, जायफल, अजवाइन, करायत, पीपल को बावली के जल में मिलाकर काढ़ा तैयार किया जाएगा. भगवान को भोग लगाकर वह प्रसाद के तौर पर भक्तों को वितरित किया जाएगा. ऐसी मान्यता है कि इस प्रसाद का सेवन करने से व्यक्ति सालभर निरोगी रहता है.

ओडिशा के पवित्र धाम पुरी में इस बार 29 जून को रथयात्रा निकाली जा रही है. इसलिए रायपुर में भी इसी दिन रथयात्रा निकलेगी. 28 जून को नैन उत्सव के साथ महोत्सव की शुरुआत होगी.

पढ़ें: पुरी में जगन्नाथ रथ यात्रा की तैयारियां शुरू

29 जून को विशेष पूजा-अर्चना के बाद रथयात्रा को जगन्नाथ मंदिर के महंत रामसुंदरदास के सानिध्य में शहर का भ्रमण कराया जाएगा. पुरानी बस्ती मुख्य मार्ग पर भगवान नौ दिन के लिए विराजित किए जाएंगे. पुरानी बस्ती के अलावा अवंति विहार, सदरबाजार, आमापारा, शास्त्री बाजार बांस टॉल, लिली चौक व गुढ़ियारी स्थित जगन्नाथ मंदिरों से भी रथयात्रा निकलेगी. रथयात्रा को लेकर राजधानी सहित राज्य के कई जगहों पर जोर शोर से तैयारी शुरू हो गई है.

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