वॉशिंगटन डीसी की रहने वाली मेगन कॉन्ड्री ने न्यूयॉर्क पोस्ट को बताया कि वह अपने क्रिसमस डेकोरेशन के लिए अपनी अलमारी साफ कर रही थीं. तब उन्हें एक बॉक्स दिखा. जब बॉक्स को खोला तो उन्हें उसमें सुरक्षित मैक्डोनल्ड्स का बर्गर दिखाई दिया. वह भी चीजबर्गर. जबकि चीज सबसे जल्दी खराब होने वाला पदार्थ होता है. मेगन ने बताया कि उस बर्गर से किसी तरह की गंध नहीं आ रही थी. दिखने में वह वैसा ही जैसा उसने उसे खरीदा था. पैकेट पर तो खरीदने की तारीख (लाल घेरे में) भी लिखी थी. (फोटोः मेगन कॉन्ड्री/ट्विटर)
मेगन ने कहा कि हालांकि बर्गर में कुछ अंतर जरूर देखने को मिला. वह पत्थर की तरह मजबूत हो चुका था. उससे कांच की खिड़की को तोड़ा जा सकता था. मेगन ने बताया कि उन्होंने बर्गर को प्रयोग के तौर पर अलमारी में रखा था. वह जानना चाहती थीं कि बर्गर के साथ क्या होता है. मेगन ये काम करने वाली पहली महिला नहीं हैं. इससे पहले भी कुछ मैक्डोनल्ड्स बर्गर के साथ एक्सपेरिमेंट्स कर चुके हैं. (फोटोः गेटी)
जिन्होंने भी बर्गर को एक्सपेरिमेंट्स के लिए रखा, उन्होंने तापमान और रखरखाव के तरीकों को भी शामिल किया. हालांकि इस घटना के बाद मैक्डोनल्ड्स ने बयान जारी करके कहा कि यह एक अफवाह है. हम ऐसे बर्गर नहीं बनाते जो कभी खराब न हों. सही पर्यावरण में अन्य खाद्य सामग्रियों की तरह बर्गर भी डिकंपोज होते हैं. (फोटोः गेटी)
Woman Finds Perfectly Preserved McDonald's Burger In Wardrobe 5 Years After Buying Ithttps://t.co/hgZOt23x9E pic.twitter.com/wFOpqQqJzN
— IFLScience (@IFLScience) February 17, 2022
मैक्डोनल्ड्स ने कहा कि डिकंपोज होने की प्रक्रिया के दैरान सबसे ज्यादा जरूरी फैक्टर होती है नमी (Moisture). अगर बर्गर नमी वाले स्थान पर नहीं है तो उसमें बैक्टीरिया या फंगस नहीं पनपेगा. वह पत्थर की तरह कड़क हो जाएगा. लेकिन इसका मतलब ये नहीं कि वह वैसे का वैसा ही जैसा उसे खरीदा गया था. डिकंपोज तो हुआ ही है. बस उसके खराब होने की स्थिति थोड़ी सी बदल गई है. (फोटोः गेटी)
मैक्डोनल्ड्स ने कहा कि अगर आप मेगन के बर्गर को ध्यान से देखें तो पता चलेगा कि वह पूरी तरह से डिहाइड्रेट (Dehydrate) हो चुका है. यानी उसके अंदर से नमी गायब है. इसलिए यह नहीं कहा जा सकता कि वह एकदम वैसा ही दिख रहा है जैसा उसे पहले दिन खरीदते समय देखा गया था. (फोटोः गेटी)
सीरियस ईट्स नाम का ब्लॉग लिखने वाले शेफ और कलीनरी कंसलटेंट जे. केंजी लोपेज-एल्ट ने कहा कि मैक्डोनल्ड्स के बयान के पीछे लॉजिक है. जे. केंजी ने भी मैक्डोनल्ड्स के बर्गर पर कई प्रयोग किए. उन्होंने बताया कि इस कंपनी के बर्गर के बन में किसी तरह का प्रिजरवेटिव नहीं मिलाया जाता. मैक्डोनल्ड्स का बर्गर भी सामान्य बर्गरों की तरह ही होता है. ये भी बाकी बर्गरों की तरह सही समय पर सड़ सकते हैं. (फोटोः गेटी)
अगर आप मैक्डोनल्ड्स के हैम बर्गर को ध्यान से देखें तो ये बेहद पतले और ज्यादा व्यास वाले होते हैं. यानी सरफेस एरिया और बर्गर का वजन का रेशियो आपस में बहुत ज्यादा है. अगर इसे कायदे से गर्म किया जाए तो उसमें से सारे बैक्टीरिया खत्म हो जाते हैं. यह पकने के कुछ समय बाद तेजी से अपनी नमी खोने लगते हैं. यानी थोड़े समय में ही बर्गर सूख जाता है. ज्यादा दिन रखे रहने के बाद उसमें से नमी पूरी तरह गायब हो जाती है और वह पत्थर की तरह सख्त हो जाता है. (फोटोः गेटी)