जर्मनी में भारी बर्फबारी हुई है. ऑस्ट्रिया, स्विट्जरलैंड और चेक गणराज्य में भी यही हालात हैं. 20-20 इंच तक बर्फ जमी है. पिछले 24 घंटे में मध्य यूरोप के ये देश पूरी तरह से बर्फ की चादर में ढंक गए हैं. सबसे बुरी हालत दक्षिणी जर्मनी की है. बर्फबारी की वजह से यूरोप के इन देशों में यातायात बाधित है. विमान सेवाएं रुकी हुई हैं. ट्रेनें-बस बंद हैं. (सभी फोटोः एपी)
म्यूनिख एयरपोर्ट पर शनिवार को सुबह घोषणा की गई कि दोपहर में उड़ानें फिर से शुरू करेंगे. लेकिन थोड़ी देर बाद मौसम बिगड़ता ही चला गया. इसके बाद कहा गया कि अब रविवार की सुबह 6 बजे उड़ानें शुरू होंगी. लेकिन हो नहीं पाईं. यही हाल ज्यूरिख के एयरपोर्ट्स का भी था. वहां भी मौसम की वजह से कई विमान देरी से उड़े. कुछ रद्द भी हुए.
म्यूनिक के सेंट्रल स्टेशन से ट्रेन्स निकल ही नहीं पाईं. सुपरफास्ट ट्रेन्स के इंजन पर बर्फ की मोटी परत छाई हुई थी. यात्रियों को अपना रूट बदलने या यात्रा रद्द करने की सलाह दी गई है. म्यूनिख सेंट्रल स्टेशन पर कुछ यात्रियों ने शुक्रवार की रात स्टेशन पर ही बिताई. म्यूनिख में कोई बस या ट्राम सेवा नहीं चल रही है. सड़कों पर 20-20 इंट बर्फ जमा है.
जर्मनी के बावरिया प्रांत में बर्फीले तूफान की वजह से हजारों पेड़ उखड़ गए हैं. उन पर बर्फ जमा हो गई है. इसकी वजह से बिजली के खंभे गिर गए हैं. लाखों लोग बिना बिजली के रह रहे हैं. बेयर्न म्यूनिख और यूनियन बर्लिन के बीच होने वाला सॉकर मैच रद्द कर दिया गया है.
भारी बर्फबारी की वजह से 350 लोग जख्मी हुए हैं. कई एक्सीडेंट की खबरें भी सामने आईं हैं. बर्फ की वजह से गाड़ियों के फिसलने से एक्सीडेंट हुए. हांलाकि इन हादसों में किसे के मारे जाने की खबर नहीं है. पर लोग घायल जरूर हुए हैं.
ऑस्ट्रिया और स्विट्जरलैंड में ताजा बर्फबारी की वजह से हिमस्खलन (Avalanches) का अलर्ट जारी किया गया है. पश्चिमी ऑस्ट्रिया के टाइरोल और वोरालबर्ग में हिमस्खलन की वॉर्निंग को बढ़ाकर दूसरे सबसे ऊंचे स्तर पर कर दिया गया है. इस इलाके में 50 सेंटीमीटर बर्फबारी सिर्फ एक रात में ही हुई है.
चेक गणराज्य में के प्रमुख राजमार्गों और हाइवे को बंद किया गया है. ट्रेन और सार्वजनिक परिवहन सेवाएं बंद हैं या देरी से चल रहे हैं. 15 हजार से ज्यादा घरों में बिजली सप्लाई नहीं हो रही है. प्राग का प्रमुख हाइवे D1 पर कई घंटों तक जाम लगा था. ये जाम करीब 20 किलोमीटर लंबा था. इसमें ज्यादातर कार्गो ट्रक थे.
प्राग और जर्मनी को जोड़ने वाले हाइवे D5 पर भी जाम था. हाई स्पीड और रीजनल ट्रेनों को रोक दिया गया है. क्रॉस बॉर्डर्स ट्रेनों को भी रोका गया है. जब तक पटरियों पर गिरी बर्फ पिघलती नहीं इन्हें चलाया नहीं जाएगा. ऑस्ट्रिया और जर्मनी ने तो फिलहाल यही फैसला लिया है.
उम्मीद है कि अगले एक-दो दिनों तक इन सभी देशों में यातायात पूरी तरह से संचालित नहीं हो पाएगा. क्योंकि तूफान का असर वहां के मौसम में अब भी है. रुक-रुक कर बर्फबारी हो रही है.