हिज्बुल्ला आतंकी इजरायल पर ड्रोन हमला करते हैं. हमास आतंकी छोटे ड्रोन्स या छोटे रॉकेट्स से हमला करते हैं. फिर सुरंगों में छिप जाते हैं. इन सुरंगों को खत्म करने और उनकी खोज के लिए इजरायल जिस ड्रोन का इस्तेमाल करता है, वो बेहद बेहतरीन जासूस है. शानदार हमलावर भी है. इसका इस्तेमाल आमतौर पर निगरानी के लिए होता है.
इजरायल ने ड्रोन से हमास आतंकियों और उनके सुरंगों की खोज तब शुरू की जब एक दक्षिणी इजरायल के ईलट शहर में एक नागरिक इमारत में ड्रोन अटैक हुआ है. जांच में पता चला कि ड्रोन हमास की ड्रोन फैक्ट्री में बनाया गया था. यह ड्रोन गाजा में मौजूद फैक्ट्री में तैयार हो रहा था. फिर हमास ने ड्रोन और फाइटर जेट से हमला करके उसे बर्बाद किया.
जिस ड्रोन से इजरायल ने निगरानी की. हमास आतंकियों की सुरंगों का पता लगाया, उसका नाम है एलबिट हर्मेस 450 (Elbit Hermes 450) ड्रोन. यह मीडियम साइज मल्टी पेलोड अनमैन्ड एरियल व्हीकल है. इसे लंबे समय वाले टैक्टिकल मिशन के लिए ही बनाया गया है. यह एक बार में कम से कम 20 घंटे तक उड़ान भर सकता है.
पाताल में छिपा हो दुश्मन, ये खोज निकालता है
इस ड्रोन में इलेक्ट्रोऑप्टिकल, इंफ्रारेड सेंसर्स लगे हैं. जिनकी मदद से ये कम्यूनिकेशन और इलेक्ट्रॉनिक इंटेलिजेंस, सिंथेटिक अपर्चर राडार, ग्राउंड मूविंग टारगेट इंडीकेशन, इलेक्ट्रॉनिक वॉरफेयर या हाइपरस्पेक्ट्रल सेंसर्स का इस्तेमाल करता है. ये ऐसी तकनीक हैं, जिनसे दुश्मन पाताल के अंदर कहीं भी छिपा हो, उसे ये खोज निकालता है.
1998 से इजरायल कर रहा इस ड्रोना का इस्तेमाल
हर्मेस 450 ड्रोन 1998 से इजरायल में इस्तेमाल हो रहा है. खासतौर से इजरायली वायुसेना का हिस्सा है. हर्मेस का इस्तेमाल ब्राजील, जॉर्जिया, इजरायल, इंग्लैंड और अमेरिका की एजेंसियां भी करती हैं. यह 20 फीट लंबा है. इसका वजन करीब 550 किलोग्राम है. अदिकतम 180 किलोग्राम वजन की मिसाइल, रॉकेट या बम लेकर उड़ान भर सकता है.
जासूसी के हिसाब से सबसे सटीक और पसंदीदा
इस ड्रोन की अधिकतम स्पीड 176 किलोमीटर प्रतिघंटा है. लेकिन यह आमतौर पर 130 किलोमीटर प्रतिघंटा की रफ्तार से उड़ान भरता है. इसकी रेंज 300 किलोमीटर है. एक बार में यह 17 से 20 घंटे तक उड़ान भर सकता है. अधिकतम 18 हजार फीट की ऊंचाई तक जा सकता है. इसमें आमतौर पर स्पाइक मिसाइल लगाई जाती है.