टीम इंडिया के नए 'मिस्टर डिपेंडेबल' अजिंक्या रहाणे को हैप्पी बर्थडे..
भारत के नए मिस्टर डिपेंडेबल अजिंक्या रहाणे का जन्म 5 जून 1988 को हुआ था. रहाणे ने 2007 में मुंबई के लिए खेलते हुए अपने फर्स्ट क्लास करियर की शुरुआत की. अपनी पहली ही पारी खेलते हुए रहाणे ने कराची अर्बन्स के खिलाफ शानादर 143 रनों की पारी खेली, और वहीं से इस बल्लेबाज ने सबका ध्यान अपनी ओर खींचा. रहाणे ने मात्र 2 ही रणजी सीजन में अपने एक हजार फर्स्ट क्लास रन भी पूरे कर लिए.
बेहद सधे हुए अंदाज में अपनी क्रिकेट खेलने वाले रहाणे को भारत की तरफ से पहला टेस्ट खेलने का मौका 2013 में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ मिला. दिल्ली में खेले गए उस टेस्ट मैच में रहाणे का बल्ला खामोश रहा और वह पहली पारी में 7 और और दूसरी पारी में मात्र 1 रन ही बना पाए. लेकिन उस एक नाकामी के बाद रहाणे ने कभी पीछे मुड़कर नहीं देखा. आज विदेशी धरती पर रहाणे को भारत का सबसे विश्वसनीय बल्लेबाज माना जाता है. रहाणे ने अब तक 14 टेस्ट मैचों में 1077 रन बनाए हैं. न सिर्फ टेस्ट मैचों में बल्कि टी20 और वनडे में भी रहाणे उतने ही कामयाब हैं. रहाणे ने 54 वनडे मैचों में जहां 1584 रन बनाए हैं वहीं 11 टी20 मैचों में उनके बल्ले से 236 रन निकले हैं.
डॉन ब्रैडमेन को 100 की एवरेज बनाने से इसी गेंदबाज ने रोका था...
डॉन ब्रैडमेन अगर अपनी आखरी पारी में 4 रन बना लेते तो उनका टेस्ट एवरेज 100 का हो जाता. लेकिन 1948 में इंग्लैंड के खिलाफ अपनी आखरी पारी खेलने उतरे ब्रैडमेन शून्य पर आउट हो गए थे.
डॉन को उनकी अंतिम पारी में आउट करने का श्रेय इंग्लैंड के लेग स्पिनर एरिक होलिस को जाता है. एरिक का जन्म आज ही के दिन 5 जून 1912 को हुआ था. ब्रैडमेन दूसरी गेंद का सामना करते हुए एरिक की गुगली पर बोल्ड हो गए थे.
आज ही के दिन इयान बॉथम ने पहली बार इंग्लैंड की कप्तानी की थी, लेकिन.....
5 जून 1980 को महान इयान बॉथम ने पहली बार टेस्ट मैचों में इंग्लैंड की कप्तानी की. उस समय बॉथम मात्र 24 साल के थे, लेकिन वह इंग्लैंड की टीम के सबसे मजबूत खिलाड़ी थे. वेस्टइंडीज के खिलाफ उस टेस्ट मैच में इंग्लैंड की टीम 2 विकेट से पराजित हुई. मजे की बात यह है कि बॉथम ने 12 मैचों में इंग्लैंड की कप्तानी की, लेकिन एक भी मैच में उन्हें जीत नसीब नहीं हुई.
कप्तान बनने से पहले बॉथम की बल्लेबाजी की औसत तकरीबन 40 और गेंदबाजी औसत लगभग 18 की थी. लेकिन बतौर कप्तान बॉथम की बल्लेबाजी और गेंदबाजी की औसत में भारी गिरावट देखी गई. कप्तानी करते हुए बॉथम की बल्लेबाजी औसत मात्र 13 और गेंदबाजी औसत 33 की हो गई थी.
आज ही के दिन इंग्लैंड के पूर्व कप्तान नासिर हुसैन ने खेली थी करियर बचाऊ पारी..
इंग्लैंड के पूर्व कप्तान नासिर हुसैन ने आज ही के दिन 1997 में करियर बचाऊ पारी खेली थी. प्रतिष्ठित एशेज सीरीज का वो पहला ही मैच था. ऑस्ट्रेलिया ने उस टेस्ट मैच में टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी चुनी और पूरी टीम मात्र 118 रन पर सिमट गई.
उसके बाद नासिर हुसैन ने अपने जीवन की सबसे बड़ी पारी खेलते हुए 207 बना डाले. यह स्कोर उनके टेस्ट करियर का उच्चतम स्कोर भी है. अपने फॉर्म से झूझ रहे ऑस्ट्रेलियाई कप्तान मार्क टेलर के लिए भी वह टेस्ट मैच किसी जीवन रक्षक से कम नहीं था. दूसरी पारी में 129 रन बनाकर टेलर ने भी अपना करियर बचाया था.