Hanuma Vihari Profile Story in Hindi: हनुमा विहारी, संकट में काम आने वाला खिलाड़ी. मतलब जहां मैच फंस जाए तो वहां वो खड़ा हो जाता है. हनुमा ने भले ही इंटरनेशनल क्रिकेट में 16 टेस्ट मैच खेले हो, लेकिन उन्होंने साल 2021 में सिडनी टेस्ट में जो कुछ किया वो पारी इतिहास के स्वर्णिम पन्नों में दर्ज रहेगी, उस पारी में उन्होंने जो 'डिफेंस मैकेनिज्म दिखाया. उसे क्रिकेट की आने वाली पीढ़ियां भी बड़े चाव से देखेंगी.
विहारी को आज भी ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ सिडनी टेस्ट में खेली गई साहसिक पारी के लिए याद किया जाता है. उस मैच में हनुमा विहारी ने अंगद की तरह अपना पैर जमाकर मैच बचाया था. उसके बाद ही भारत ने गाबा टेस्ट जीतकर सीरीज अपने नाम की थी. वहीं एक रणजी मैच में तो वो फ्रैक्चर हाथ होने के बाद भी मैदान पर उतर आए थे.
पहले बात सिडनी टेस्ट की, उस मैच में हनुमा ने चोटिल होने के बावजूद अंगद की तरह पिच पर पैर जमाए. हनुमा ने 161 गेंदों में 23 रनों की पारी खेली थी. कोई सोच भी नहीं सकता है कि 23 रनों की पारी भी महान हो सकती है..? पर वो 23 रनों की पारी किसी भी लिहाज से शतक से कम नहीं थी. हनुमा की पारी की बदौलत मैच ड्रॉ हुआ, जबकि भारतीय टीम एक समय हारने की स्थिति में थी
उस मैच में भारतीय टीम को ऑस्ट्रेलिया ने 407 रनों टारगेट दिया था. हनुमा इस मैच में दूसरी पारी में हैमस्ट्रिंग चोट के साथ बल्लेबाजी करने आए थे. मैच में तब रविचंद्रन अश्विन ने भी हनुमा का खूब साथ दिया था. भारतीय पारी 334/5 पर रुकी और मैच ड्रॉ हुआ. अश्विन ने भी 128 गेंदों का सामना किया था और 39 रन बनाए थे. एक समय टीम इंडिया के 5 विकेट 272 रन पर ही गिर गए थे.
भारतीय टीम की पारी के दौरान कंगारू गेंदबाज लगातार एक तरफ से बाउंसर फेंकते रहे, कई बार हनुमा चोटिल भी हुए. पर उनके खेलने का जज्बा कायम रहा. भारतीय टीम ने तब उस मैच में 334 रन बनाने के लिए 131 ओवर्स का सामना किया और मैच बचा लिया.
वैसे उस ऐतिहासिक सिडनी टेस्ट के पांचवें दिन की सुबह अश्विन भी दर्द के कारण फर्श पर रेंग रहे थे और उठने या झुकने में असमर्थ थे. उनकी पत्नी प्रीति नारायणन ने यह बात तब मैच के बाद बताई थी. उस मैच की दूसरी पारी में ऋषभ पंत ने 97, चेतेश्वर पुजारा ने 77 और रोहित शर्मा ने 52 रनों की पारी खली थी. बाद में भारत ने यह टेस्ट सीरीज 2-1 से जीती थी.
Moments to cherish for a long time 👏👏
— BCCI (@BCCI) January 11, 2021
Visuals from inside the dressing room as #TeamIndia pull off a remarkable draw at the SCG 🏟️
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यहां ध्यान रहे कि सीरीज के शुरुआती टेस्ट मैच ( 17 - 19 दिसंबर, 2020) में भारतीय टीम एडिलेड में दूसरी पारी में 36 रनों पर ऑलआउट हो गई थी. इस तरह ऑर्स्टेलिया ने सीरीज में तब 1-0 से बढ़त बना ली थी. इस टेस्ट मैच के बाद तब टीम के कप्तान रहे विराट कोहली वापस आ गए थे, क्योंकि उनकी तब बेटी वामिका का जन्म होने वाला था.
बाद में कोहली की जगह अंजिक्य रहाणे ने कप्तानी संभाली थी. फिर भारतीय टीम ने मेलबर्न टेस्ट में जीत दर्ज कर 1-1 से बराबरी की. इसके बाद सिडनी टेस्ट ड्रॉ रहा था. फिर गाबा (ब्रिस्बेन) में ऋषभ पंत की पारी की बदौलत भारत ने सीरीज पर कब्जा किया था. पंत की वो पारी कोई फैन नहीं भुला सकता है. भारत ने वो ऐतिहासिक सीरीज 2-1 से जीती थी.
हनुमा विहारी का हाथ था फ्रैक्चर, बाएं हाथ से बल्लेबाजी की
हनुमा विहारी की सिडनी टेस्ट में खेली गई हिम्मती पारी के बारे में हमने आपको बताया, लेकिन वो पिछले साल फरवरी 2023 में क्वार्टर फाइनल मैच में एक हाथ से बल्लेबाजी करने मैदान में उतरे थे. तब आंध्र प्रदेश के कप्तानी संभाल रहे हनुमा विहारी की पहली पारी में कलाई फ्रैक्चर हो गई थी.
दूसरी पारी में भी बल्लेबाजी की थी. वो पहली पारी की तरह खेल के तीसरे दिन दूसरी पारी में भी 11वें नंबर पर बैटिंग करने आए थे. तब हनुमा ने बाएं हाथ से बललेबाजी की थी. यह मैच आंध्र प्रदेश और मध्य प्रदेश के बीच इंदौर में खेला गया था. हनुमा ने तब 16 गेंदों पर 15 रन बनाए थे.
हनुमा विहारी क्यों विवादों में आए?
आंध्र प्रदेश के क्रिकेटर और टीम इंडिया के लिए खेल चुके हनुमा विहारी ने हाल में एक सोशल मीडिया पोस्ट के माध्यम से बताया था कि वो कभी भी आंध्र प्रदेश के लिए नहीं खेलना चाहते हैं. वहीं उन्होंने इस पोस्ट में अप्रत्यक्ष तौर पर आंध्र टीम के ही विकेटकीपर बल्लेबाज केएन पृध्वी राज (Prudhvi Raj) का नाम लिया था. हनुमा का मानना था कि पृध्वी के कारण ही वो राजनीति का शिकार हुए.
भारतीय टीम के लिए 16 टेस्ट मैच खेल चुके स्टार खिलाड़ी हनुमा विहारी (Hanuma Vihari) के एक पोस्ट ने हाल में बखेड़ा कर दिया. पृध्वी के पिता कुंत्रपकम नरसिम्हा (Kuntrapakam Narasimha) हैं. नरसिम्हा युवजन श्रमिक रायथू कांग्रेस पार्टी (YSRCP ) के प्रमुख राजनेताओं में से एक हैं और आंध्र प्रदेश के तिरुपति के वार्ड पार्षद भी हैं. हनुमा का मानना था कि पृध्वी के पिता के कारण ही उन पर आंध्र प्रदेश क्रिकेट एसोसिएशन ने उन पर कार्रवाई की. ऐसे में वो अब शर्मिंदगी महसूस कर रहे हैं, हनुमा ने साफ कर दिया कि इस सीजन के बाद वो कभी भी आंध्र प्रदेश के लिए क्रिकेट नहीं खेलेंगे.
वहीं, इस पर पृध्वी ने भी एक इंस्टाग्राम स्टोरी शेयर की. इसमें उन्होंने लिखा कि मैं ही वो क्रिकेटर हूं, जिसको यूजर्स कमेंट बॉक्स में तलाश रहे हैं. पृध्वी ने इस पोस्ट में लिखा था कि गेम से ऊपर कोई नहीं है, किसी का भी आदर सभी से ऊपर है. अभद्र भाषा कतई स्वीकार्य नहीं की जा सकती है, सभी लोग जानते हें उस दिन क्या हुआ था.
हनुमा विहारी का क्रिकेट करियर
हनुमा विहारी ने भारतीय टीम के लिए अब तक 16 टेस्ट मैच खेले, जिसमें 33.56 के एवरेज से 839 रन बनाए हैं. इस दौरान उनके बल्ले से 1 शतक और 5 अर्धशतक निकले. विहारी के नाम टेस्ट क्रिकेट में 5 विकेट भी हैं.
विहारी ने अपना आखिरी टेस्ट मैच जुलाई 2022 में इंग्लैंड के खिलाफ बर्मिंघम में खेला था. वैसे हनुमा घरेलू क्रिकेट में हैदराबाद और आंध्र प्रदेश दोनों ही टीमों के लिए खेल चुके हैं. 124 फर्स्ट क्लास मैचों में वो 51.80 के एवरेज से 9325 रन बना चुके हैं. वहीं 97 लिस्ट ए मैचों में हनुमा विहारी 41.73 के एवरेज से 3506 रन बनाए हैं. वहीं हनुमा ने 89 टी20 मैचों में 21.88 के एवरेज से 1707 रन ठोंके हैं.