जिम्बाब्वे के खिलाफ तीसरे और अंतिम वनडे में शतक जमाकर टीम इंडिया को जिताने वाले केदार जाधव को अपने प्रदर्शन से बेहद खुशी है.इस 30 वर्षीय भारतीय बल्लेबाज को खुशी है कि राष्ट्रीय चयनकर्ताओं ने उन्हें जो मौका दिया था उस पर वह खरा उतरने में सफल रहे.
खुशी है कि मिले मौके पर खरा उतरा
आठ महीने बाद भारतीय टीम में वापसी करने वाले जाधव ने अपने पहले दो वनडे में पांच और 16 रन बनाने के बाद तीसरे मैच में 87 गेंदों पर 105 रन की पारी खेली.
शानदार मौका था यह
जाधव ने कहा, ‘यह शानदार मौका था. मुझे ऐसे ही मौके की तलाश थी. मैं जानता था कि यहां चुनौतीपूर्ण होगा और इसलिए मैंने इसकी तैयारी की थी. मैं जानता था कि प्रत्येक मैच में रन बनाना आसान नहीं होगा. मैंने खुद से कहा कि जब भी मुझे बल्लेबाजी का मौका मिलेगा, मुझे आखिर तक क्रीज पर टिके रहकर अपनी टीम की जीत सुनिश्चित करनी है. मुझे खुशी है कि मैं तीसरे वनडे में आखिर तक टिका रहा.’
आठ महीने बाद टीम इंडिया के लिए खेल रहे थे जाधव
जाधव ने घरेलू क्रिकेट में काफी समय बिताने के बाद 2014 में वनडे में पदार्पण किया था. जिसके बाद अगले मैच के लिए उन्हें आठ महीने तक इंतजार करना पड़ा. 82 रन पर चार विकेट गिरने के बाद क्रीज पर आए जाधव ने मनीष पांडे के साथ 144 रनों की साझेदारी की. उन्होंने आगे कहा कि भारत ने 3-0 से क्लीन स्वीप करने के बारे में नहीं सोचा था और इसका श्रेय बल्लेबाजों को जाता है.
बल्लेबाजों के दम पर किया क्लीन स्वीप
जाधव ने कहा, ‘हमने कभी नहीं सोचा था कि हम 3-0 से सीरीज जीतेंगे. हमें पता था कि उन्हें उनकी सरजमीं पर हराना मुश्किल होगा. यह चुनौतीपूर्ण था विशेषकर तीनों मैचों में पहले बल्लेबाजी करना लेकिन हमारे बल्लेबाजों ने शानदार प्रदर्शन करके प्रत्येक मैच में 250 से अधिक का स्कोर बनाया. मुझे लगता है कि यहां हमने मैच में अंतर पैदा किया.’
इनपुट :भाषा