India vs South Africa 2021-22: भारत का साउथ अफ्रीका दौरा रविवार यानी 26 दिसंबर से शुरू हो रहा है. सेंचुरियन में जब भारतीय टीम विराट कोहली की अगुवाई में मैदान पर उतरेगी, तब उसका मकसद इतिहास को बदलना होगा. टीम इंडिया ने अभी तक साउथ अफ्रीका में कोई भी टेस्ट सीरीज़ नहीं जीती है.
लेकिन सीरीज शुरू होने से पहले टीम इंडिया के सामने एक बार फिर से प्लेइंग इलेवन पर विचार करने का वक्त आ गया है. क्योंकि सबसे बड़ा सवाल यही है कि क्या खराब फॉर्म से जूझ रहे अजिंक्य रहाणे, चेतेश्वर पुजारा जैसे बल्लेबाजों को प्लेइंग-11 में जगह मिलेगी या नहीं.
ऑस्ट्रेलिया-इंग्लैंड के बाद अब अफ्रीका पर नज़र
ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ मिली सीरीज जीत के बाद टीम इंडिया से सभी लोग दक्षिण अफ्रीका में जीत दर्ज करने की उम्मीद कर रहे हैं. ऑस्ट्रेलिया में टीम इंडिया के बेहतर प्रदर्शन के अलावा इंग्लैंड में भी अभी तक हुए 4 टेस्ट में 2 मुकाबले भारत ने जीते हैं.
निश्चित रूप से भारतीय क्रिकेट टीम इस वक्त इस फॉर्मेट की बेहतरीन टीमों में से एक है. अगर विश्व टेस्ट चैम्पियनशिप का फाइनल हटा दें तो भारतीय टीम ने पिछले 2-3 साल में काफी शानदार प्रदर्शन किया है.
इसके साथ ही सीरीज से पहले भारतीय टीम के लिए एक चिंता का विषय भी सामने है. टीम इंडिया के सीनियर बल्लेबाजों का प्रदर्शन पिछले कुछ महीनों में काफी खराब रहा है और दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ अगर हम बड़े स्कोर नहीं बना पाते हैं, तो सीरीज एकबार फिर से 2018 वाला रुख ले सकती है.
2018 में टीम इंडिया सिर्फ 1 पारी में 250 से ज्यादा का स्कोर कर पाई थी. इस बात को पूर्व भारतीय ओपनिंग बल्लेबाज वसीम जाफर ने भी कहा है. जाफर ने कहा कि टीम के यहां बड़े स्कोर की जरूरत होगी और टीम को 7 बल्लेबाजों के साथ उतरना चाहिए.
राहुल ने कहा- 3 में से एक चुनना मुश्किल
मैच से दो दिन पहले हुई प्रेस कॉन्फ्रेंस में केएल राहुल ने यह साफ कर दिया था कि टीम 5 गेंदबाजों के साथ ही उतरेगी. केएल राहुल ने साथ ही यह भी कहा कि टीम के लिए अजिंक्य रहाणे, श्रेयस अय्यर और हनुमा विहारी के बीच में से एक खिलाड़ी को चुनना काफी कठिन है.
राहुल ने कहा, 'टीम के लिए रहाणे, अय्यर और विहारी के बीच में एक खिलाड़ी चुनना काफी मुश्किल है, रहाणे ने भारतीय टीम के लिए कई अहम पारियां खेली है, जिसमें से अभी लॉर्ड्स और मेलबर्न में खेली गई पारियां भी हैं. साथ ही अय्यर और हनुमा ने भी अच्छा प्रदर्शन किया है.'
अब टीम मैनेजमेंट को हालिया फॉर्म को देखते हुए भी प्लेइंग इलेवन में थोड़े बदलाव करने चाहिए. दोनों टीमों के पास गेंदबाजी बेहतर है लेकिन बल्लेबाजी में जो टीम बड़े स्कोर बनाएगी उसका पलड़ी हर मुकाबले में भारी रहने वाला है. ऐसे में टीम मैनेजमेंट को अजिंक्य रहाणे, श्रेयस अय्यर या हनुमा विहारी को लेकर कोई फैसला करना होगा.
अय्यर, विहारी ने बढ़ाया रहाणे-पुजारा पर दबाव
पिछले कुछ समय से अजिंक्य रहाणे की बल्लेबाजी पर सवाल उठे हैं और खराब बल्लेबाजी के चलते ही वो टेस्ट टीम की उपकप्तानी भी गंवा बैठे हैं. रहाणे के साथ चेतेश्वर पुजारा और विराट कोहली की बैटिंग को लेकर भी कई आशंकाएं हैं. युवा बल्लेबाजों श्रेयस अय्यर और हनुमा विहारी ने अच्छी बैटिंग की है इस वजह से खासकर पुजारा और रहाणे पर टीम में जगह को लेकर काफी दबाव भी होगा.
कानपुर में शतक से साथ डेब्यू करने वाले श्रेयस अय्यर लंबे समय से टीम इंडिया की टेस्ट टीम में जगह को लेकर इंतजार कर रहे हैं, और ऐसे में उन्हें अगर रहाणे की जगह मौका मिलता है तो वो इस मौके को पूरी तरह से अपने हाथ में करने की कोशिश करेंगे.
साथ ही न्यूजीलैंड के खिलाफ घरेलू सीरीज की जगह दक्षिण अफ्रीका में A टीम के साथ टेस्ट सीरीज खेलने वाले हनुमा विहारी भी पिछले विदेशी दौरों में भारतीय टीम के साथ रहे हैं और दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ हाल ही में खत्म हुई सीरीज में भी उन्होंने शानदार बल्लेबाजी की. रहाणे की जगह लेने के लिए पांचवें नंबर पर भी इन दो युवा खिलाड़ियों के बीच भी होड़ लगी है.