Mohammed Shami Hasin Jahan: भारतीय टीम के स्टार तेज गेंदबाज मोहम्मद शमी और उनकी पत्नी हसीन जहां के बीच कोर्ट में केस चल रहा है. घरेलू हिंसा और मैच फिक्सिंग का आरोप लगाने वाली हसीन जहां ने कोर्ट में गुजारा भत्ता के लिए केस लगाया है. इस पर उन्हें जीत भी मिली, लेकिन मनमुताबिक गुजारा भत्ता नहीं मिल सका.
दरअसल, कोलकाता में अलीपुर कोर्ट की जज अनिंदिता गांगुली ने सोमवार को फैसला सुनाते हुए कहा कि शमी हर महीने हसीन जहां को 1 लाख 30 हजार रुपये गुजारा भत्ता देंगे. इसमें 80 हजार रुपये बेटी का खर्च रहेगा, जबकि 50 हजार रुपये हसीन जहां को गुजारा भत्ता मिलेगा.
2011 में हुई थी शमी और हसीन जहां की मुलाकात
बता दें कि शमी और हसीन जहां की लव मैरिज थी. ऐसे में इन दोनों के बीच कड़वाहट कब और कैसे शुरू हुई, इस बात को भी जानना जरूरी होगा. दरअसल, हसीन जहां एक मॉडल और आईपीएल में चीयरलीडर रही हैं. इसी दौरान 2011 में शमी और हसीन जहां की मुलाकात हुई. तब हसीन जहां कोलकाता नाइट राइडर्स (KKR) टीम की चीयरलीडर थीं.
यहीं से शमी और हसीन जहां के बीच लव स्टोरी शुरू हुई और 2014 में दोनों ने निकाह कर लिया. यहां से हसीन जहां ने मॉडलिंग और प्रोफेशनल लाइफ छोड़ दी. फिर 2018 में दोनों के बीच किसी बात को लेकर कड़वाहट देखने को मिली और अचानक हसीन जहां ने मारपीट, घरेलू हिंसा, प्रताड़ना और मैच फिक्सिंग समेत कई गंभीर आरोप लगाए. इसी के बाद से दोनों अलग रहने लगे और कोर्ट में केस चलने लगा.
4 साल पहले केस दायर कर मागे 10 लाख रुपये
2018 में हसीन जहां ने फिर से अपने प्रोफेशन में कदम रखा. हसीन जहां ने कोर्ट में 10 लाख रुपये गुजारा भत्ते के लिए केस दायर किया था. इसमें 7 लाख रुपए उनका व्यक्तिगत गुजारा भत्ता और 3 लाख बेटी के भरण पोषण का खर्च था. हसीन की वकील मृगांका मिस्त्री ने कोर्ट में दावा किया था कि शमी की पिछले साल 2022 तक आय 7 करोड़ रुपये सालाना रही है. ऐसे में 10 लाख रुपये महीने गुजारा भत्ता बिल्कुल भी ज्यादा नहीं है.
इस पर शमी के वकील सेलिम रहमान ने दावा किया कि हसीन जहां खुद भी रुपये कमा रही हैं. वह खुद एक प्रोफेशनल फैशन मॉडल हैं. ऐसे में उनका गुजारा भत्ता इतना नहीं बनता है. इन्हीं सब बातों को ध्यान में रखते हुए कोर्ट ने हर महीने 1.30 लाख रुपये गुजारा भत्ता देने का फैसला सुनाया. अब हसीन जहां हाईकोर्ट में अपील कर सकती हैं.