भारतीय क्रिकेट टीम के चीफ सेलेक्टर एमएसके प्रसाद के एक बयान से इन दिनों खलबली मच गई है. उन्होंने सीधा संकेत दिया कि अगर पूर्व कप्तान महेंद्र सिंह धोनी अच्छा प्रदर्शन नहीं करते हैं तो आने वाले दिनों में टीम में उनकी जगह पर विचार करना पड़ सकता है. इसके बाद से ही धोनी के फैंस के दिल में कई तरह के सवाल उठ रहे हैं. अब सबकी नजर आने वाली 20 अगस्त से शुरू हो रही श्रीलंका के खिलाफ वनडे सीरीज पर है.
नहीं रहा जादुई टच
धोनी पिछले काफी समय से सिर्फ वनडे और टी-20 ही खेल रहे हैं, वहीं काफी समय से उनका प्रदर्शन उनके कद के मुताबिक नहीं रहा है. 2016 में धोनी ने 13 वनडे मैच खेले जिसमें उन्होंने 27 की औसत से 278 रन बनाए. वहीं 2017 में अभी तक उन्होंने 13 मैच खेले हैं, जिसमें उन्होंने 386 रन बनाए हैं. इस दौरान इंग्लैंड के खिलाफ उन्होंने 134 रन भी बनाए थे. धोनी कई बार मैच को फिनिश करने में भी नाकाम रहे हैं.
2019 तक टिकना मुश्किल
साफ है कि 36 वर्षीय धोनी के लिए अब 2019 वर्ल्ड कप का सफर मुश्किल हो सकता है. सेलेक्टर्स ने युवराज को टीम से बाहर कर दिया है. वहीं 2019 तक धोनी भी 38 साल के होंगे, तब तक अपनी फिटनेस बरकरार रखना और लगातार अच्छा प्रदर्शन करना खुद धोनी के लिए बड़ा चैलेंज होगा.
300 वनडे खेलने से 4 कदम दूर
भारत के सबसे सफल कप्तान रहे धोनी अपने 300 वनडे पूरे करने से मात्र 4 कदम दूर हैं. धोनी ने अभी तक कुल 296 वनडे खेलें हैं, जिनमें उन्होंने 51.32 की औसत से 9496 रन बनाए हैं. धोनी ने अपने करियर में 88.69 के स्ट्राइक रेट से रन बनाए हैं. माही अभी तक कुल 10 शतक और 64 अर्धशतक जड़ चुक हैं.
आपको बता दें कि धोनी के बारे में बोलते हुए प्रसाद ने कहा था, अगर एमएस अच्छा खेलते हैं तो उन्हें चुनने में क्या तकलीफ है. लेकिन हां, अगर वो अच्छा प्रदर्शन करने में विफल रहते हैं तो हम उनके विकल्पों की तलाश कर सकते हैं. धोनी के भविष्य के बारे में पूछने पर मुख्य चयनकर्ता ने कहा कि इसकी भविष्यवाणी करना मुश्किल है लेकिन जब तब वो अच्छा प्रदर्शन कर रहे हैं तब तक किसी को कोई परेशानी नहीं होनी चाहिए. साफ है अगर माही चाहते हैं कि वह 2019 का विश्वकप खेलें तो उन्हें रन बनाने ही होंगे.