आखिरकार भारतीय टीम को एक नया कोच मिल ही गया है. सौरव गांगुली, वीवीएस लक्ष्मण और सचिन तेंदुलकर की सलाहकार समिति को इंटरव्यू देने के बाद रवि शास्त्री को कोच बनाने का ऐलान किया गया. रवि शास्त्री शुरुआत से ही कप्तान विराट कोहली के फेवरेट थे. यह भी शास्त्री के कोच बनने का एक मुख्य कारण है. शास्त्री के अलावा भारतीय क्रिकेट की दीवार राहुल द्रविड़ को विदेशी दौरों पर बल्लेबाजी सलाहकार और ज़हीर खान को गेंदबाजी कोच बनाया गया है.
मतलब अब मिशन 2019 के लिए भारतीय टीम के पास मेंटर्स की पूरी फौज है. टीम के पास एक मुख्य कोच है, बल्लेबाजी कोच, गेंदबाजी कोच, फील्डिंग कोच हर कोई. जिससे साफ है कि टीम इंडिया को वर्ल्ड कप की तैयारियों में कोई कमी नहीं आएगी. लेकिन सवाल ये भी उठता है कि अगर टीम में हर क्षेत्र के लिए अलग से कोच है तो रवि शास्त्री की क्या भूमिका होगी.
रवि शास्त्री - टीम के मुख्य कोच
राहुल द्रविड़ - विदेशी दौरों के लिए बल्लेबाजी सलाहकार
ज़हीर खान - गेंदबाजी कोच
रामकृष्णन श्रीधर - फील्डिंग कोच
संजय बांगड़ - बल्लेबाजी कोच
तो फुटबॉल मैनेजर की तरह काम करेंगे शास्त्री!
अनिल कुंबले के मुकाबले रवि शास्त्री खिलाड़ियों से ज्यादा फ्रैंक हैं. खिलाड़ियों की हौसला अफजाई करने में रवि शास्त्री कभी पीछे नहीं हटते हैं. शास्त्री हमेशा ही खिलाड़ियों के साथ खड़े नज़र आए हैं. 2019 विश्वकप को मद्देनज़र रखते हुए देखें तो युवा टीम के लिए शास्त्री जैसे कोच की सख्त जरूरत थी. यानी जिस तरह फुटबॉल के मैदान पर टीम मैनेजर हौसलाफजाई करते हुए नज़र आते हैं, शास्त्री भी उस भूमिका में दिख सकते हैं.
आपको बता दें कि हाल ही में जब अनिल कुंबले ने कोच पद से इस्तीफा दिया था, उससे पहले उनके कार्यकाल को बढ़ाने की बात चल रही थी. तब संजय बांगड़ और श्रीधर के कार्यकाल को बढ़ाया गया था.
संजय बांगड़ 2014 में टीम के साथ जुड़े वहीं अगर टीम इंडिया के साथ उनकी बात करें, तो अगस्त 2014 में बल्लेबाजी कोच के तौर पर टीम के साथ जुड़े थे. 2016 में जब टीम जिम्बाब्वे दौरे पर थी, तो मुख्य कोच थे. लेकिन अनिल कुंबले के कोच बनाए जाने के बाद उन्हें दोबारा बल्लेबाजी कोच के तौर पर नियुक्त कर दिया था.
अगर संजय बांगड़ के रिकॉर्ड की बात करें तो कोचिंग में उनका प्रदर्शन अच्छा रहा है. बांगड़ इंडिया-ए के भी कोच रह चुके हैं, और 2010 में कोच्चि टस्कर्स के भी कोच थे. वहीं 2014 में IPL सीजन में वह पंजाब टीम के साथ जुड़े और उनकी कोचिंग में टीम ने अच्छा प्रदर्शन किया. पंजाब फाइनल में भी पहुंची थी.