पाकिस्तान के पूर्व कप्तान वसीम अकरम ने मोहम्मद आमिर पर निशाना साधा है. 54 साल के अकरम ने कहा कि जब कोई खिलाड़ी अपने कोच का सम्मान नहीं करता है, तो उन्हें गुस्सा आता है. अकरम ने कहा, 'जब कोच का अपमान किया जाता है तो उन्हें इससे नफरत होती है.' उन्होंने खुलासा किया कि वह खिलाड़ियों और प्रशंसकों की आलोचना के कारण पाकिस्तान के टीम प्रबंधन का हिस्सा नहीं बनना चाहते हैं.
वसीम अकरम की गिनती दुनिया के महान गेंदबाज में होती है और लोगों के लिए यह समझना थोड़ा हैरान करने वाला हो सकता है कि वह पाकिस्तान के सपोर्ट स्टाफ का हिस्सा क्यों नहीं हैं, जिसमें वकार यूनुस और मिस्बाह उल हक जैसे अन्य पूर्व खिलाड़ी शामिल हैं.
वसीम अकरम पूर्व तेज गेंदबाज मोहम्मद आमिर के बयान से निराश हैं. मोहम्मद आमिर ने मुख्य कोच मिस्बाह और गेंदबाजी कोच वकार पर कथित रूप से 'प्रताड़ित' करने और उनका पर्याप्त समर्थन नहीं करने का आरोप लगाया था. उन्होंने मिस्बाह और वकार यूनुस पर उनकी छवि को खराब करने का आरोप भी लगाया था. इन आरोपों के साथ उन्होंने पिछले साल अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट को अलविदा कह दिया था.
अकरम ने कहा, 'मैं बेवकूफ नहीं हूं. मैं सोशल मीडिया को देखता हूं और देखता हूं कि कैसे कुछ खिलाड़ी अपने कोच और सीनियर्स को अपमानित करते हैं. कोच क्रिकेट नहीं खेलने जा रहे हैं, खिलाड़ियों को खेलना है. एक कोच का काम सिर्फ योजना बनाना होता है और अगर टीम हारती है तो यह पूरी तरह से उसकी गलती नहीं है. मैं कोच के खिलाफ बकवास बर्दाश्त नहीं कर सकता.'
अकरम ने बताया वह क्यों नहीं बनते PAK टीम का कोच
वसीम अकरम ने खुलासा किया कि उन्होंने फ्रेंचाइजी टीमों को कोचिंग दी है, लेकिन उनके पास साल के अधिकांश समय टीम के लिए प्रतिबद्ध होने का समय नहीं है.
उन्होंने कहा कि सबसे पहले, यदि आप न केवल पाकिस्तान के साथ बल्कि किसी अन्य अंतरराष्ट्रीय टीम के साथ खुद को जोड़ते हैं, तो आपको साल में कम से कम 200-250 दिन देने होंगे. मुझे लगता है कि मैं इतने दिन अपने परिवार से दूर नहीं रह सकता.
दिग्गज क्रिकेटर ने आगे कहा कि आमतौर पर, जो खिलाड़ी किसी भी तरह की सलाह चाहते हैं, वे मुझसे संपर्क करते हैं और मैं उनकी मदद करने की कोशिश करता हूं.