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CWC 2019: 'जंग' से पहले इमरान भी टेंशन में, सरफराज को बताया- कैसे करें भारत पर फतह

1992 का वर्ल्ड कप जीतने वाली पाकिस्तान टीम के कप्तान रहे इमरान खान ने मैच से पहले कई ट्वीट किए. उन्होंने अपने ट्वीट में पाकिस्तान क्रिकेट टीम को सलाह दी है.

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पाकिस्तान के पीएम इमरान खान (फाइल फोटो)
पाकिस्तान के पीएम इमरान खान (फाइल फोटो)

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आईसीसी वर्ल्ड कप 2019 में रविवार को मैनचेस्टर में भारत के खिलाफ होने वाले मैच से पहले पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान भी टेंशन में हैं. उन्होंने अपने कप्तान सरफराज अहमद को सलाह दी है. इमरान खान ने सरफराज को बताया है कि वह टॉस जीतने पर क्या करने का फैसला लें. पाकिस्तान के प्रधानमंत्री ने सरफराज को सलाह देते हुए कहा है कि जब तक पिच नम नहीं होती, टॉस जीतकर बल्लेबाजी करनी चाहिए.

1992 का वर्ल्ड कप जीतने वाली पाकिस्तान टीम के कप्तान रहे इमरान खान ने मैच से पहले कई ट्वीट किए. उन्होंने अपने ट्वीट में पाकिस्तान क्रिकेट टीम को भी सलाह दी. इमरान खान ने कहा कि आज के मैच को देखते हुए दोनों टीमें काफी मानसिक दबाव में होंगी. ऐसे में आप अपने दिमाग पर कैसे कंट्रोल करते हैं ये देखने वाली बात होगी और यह मैच का परिणाम तय करेगा. हम भाग्यशाली है कि सरफराज के रूप में हमारे पास एक साहसिक कप्तान है. आज उन्हें अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करना होगा.

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उन्होंने पाकिस्तानी खिलाड़ियों से कहा कि वे अपने मन से सभी आशंकाओं को दूर करें और नकारात्मक स्थिति में न हों. उन्होंने टीम को सलाह देते हुए कहा कि हारने की सभी आशंकाओं को दिमाग से निकाल देना चाहिए क्योंकि दिमाग एक समय में एक ही विचार को संसाधित कर सकता है. हारने का डर एक नकारात्मक और रक्षात्मक रणनीति की ओर जाता है और विरोधियों की महत्वपूर्ण गलतियों पर ध्यान नहीं जाता है.

इमरान खान ने कहा कि आक्रामक रणनीति बनाने के लिए, सरफराज को विशेषज्ञ बल्लेबाजों और गेंदबाजों के साथ जाना होगा. इस मैच में भारत भले ही फेवरेट हो, लेकिन दिमाग से खोने का डर निकाल दें. बस अपना सर्वश्रेष्ठ दें और आखिरी गेंद तक लड़ें. इसके बाद जो भी हो, उसे सच्चे खिलाड़ियों की तरह स्वीकार करें. दुआएं आप सभी के साथ हैं.

इमरान ने बताया सफलता में दिमाग का कितना हाथ-

इमरान ने कहा, 'जब मैंने क्रिकेट करियर शुरू किया था तो मानना था कि सफलता में 70% प्रतिभा और 30% दिमाग का योगदान जरूरी है. जब मैंने क्रिकेट खेलना छोड़ा तो मुझे लगा कि यह अनुपात 50-50 होना चाहिए, लेकिन अब मैं अपने दोस्त सुनील गावस्कर से सहमत हूं कि किसी की सफलता के पीछे 60% मानसिक शक्ति और 40% प्रतिभा का हाथ है. आज सफलता में दिमाग की भूमिका 60% से अधिक होगी.'

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