गगन नारंग (10 मीटर एयर राइफल, 50 मीटर राइफल 3 पोजीशन, 50 मीटर राइफल प्रोन)
घुटने की चोट के कारण गगन नारंग पिछले साल सिर्फ वर्ल्ड कप में हिस्सा ले सके. इस दौरान उनका प्रदर्शन भी शानदार नहीं रहा. नारंग फिलहाल कमबैक कर रहे हैं, लेकिन शूटिंग इवेंट के मजबूत दावेदारों में अब भी नारंग शामिल हैं.
अभिनव बिंद्रा (10 मीटर एयर राइफल)
एकल स्पर्धा में भारत के लिए पहला गोल्ड जीतने वाले अभिनव बिंद्रा को देश का हर नागरिक पहचानता है. 2006 में 10 मीटर एयर राइफल इवेंट में वर्ल्ड चैंपियन रहे अभिनव बिंद्रा बीजिंग ओलंपिक में गोल्ड मेडल जीतने के बाद एक बार फिर लंदन गेम्स के लिए तैयार हैं. अगर उन्होंने लंदन ओलंपिक में पदक जीता तो चौंकाने वाली बात नहीं होगी.
रोंजन सिंह सोढ़ी (डबल ट्रैप)
फिरोजपुर में जन्मे रोंजन सिंह सोढ़ी ने वर्ल्ड स्टेज पर नियमित तौर पर शानदार प्रदर्शन कर देश का गौरव बढ़ाया है. बीजिंग ओलंपिक में क्वालिफाई करने का मौका चूकने के बाद सोढ़ी ने दो वर्ल्ड कप में 2 गोल्ड मेडल, दो रजत और एक कांस्य पदक हासिल किया है. एशियन गेम्स में गोल्ड मेडल और राष्ट्रमंडल खेलों में दो सिल्वर मेडल हासिल किया है. 147/ 150 के स्कोर के साथ रोंजन सिंह सोढ़ी के नाम क्वालिफिकेशन का वर्ल्ड रिकॉर्ड भी है.
मानवजीत सिंह संधू (ट्रैप मैन)
बड़े मौके पर शानदार प्रदर्शन करने में माहिर मानवजीत सिंह संधू पिछले दो ओलंपिक खेलों में पदक जीतने में नाकाम रहे हैं. 2006 में वर्ल्ड चैंपियन रहे हैं. उन्होंने 2010 के वर्ल्ड कप में गोल्ड जीता था. और दिल्ली में हुए राष्ट्रमंडल खेलों में भी उन्होंने कांस्य पदक जीता.
राही सरनोबत (महिला 25 मीटर पिस्टल)
कोल्हापूर में जन्मी राही ने यह साबित किया है कि वे जल्द ही वर्ल्ड स्टेज पर परिपक्वता के साथ प्रदर्शन करने को तैयार हैं. पिछले साले अमेरिका में आयोजित वर्ल्डकप में उन्होंने कांस्य पदक जीता था. इसके अलावा उन्होंने राष्ट्रमंडल खेलों में एक स्वर्ण और रजत पदक जीता.
संजीव राजपूत (50 मीटर राइफल 3 पोजीशन्स)
संजीव राजपूत के लिए यह दूसरा ओलंपिक है. पिछले साल कोरिया में वर्ल्डकप गोल्ड मेडल जीतने से उनका आत्मविश्वास बढ़ा है. इसके अलावा 2012 में दोहा में आयोजित एशियन शूटिंग चैंपियनशिप में सोने के तमगे पर उन्होंने कब्जा जमाया था.
हिना सिद्धु (महिला 10 मीटर पिस्टल )
2009 वर्ल्ड कप में रजक पदक जीतने के बाद हिना सिद्धु ने 2010 राष्ट्रमंडल खेलों में एक स्वर्ण और एक रजत पदक जीता है.
अनु राज सिंह (महिला 10 मीटर पिस्टल और 25 मीटर पिस्टल)
अमेरिका में आयोजित वर्ल्डकप में 10 मीटर पिस्टल इवेंट में रजत पदक जीतने वाली अनु राज सिंह ने दिल्ली राष्ट्रमंडल खेल में स्वर्ण पदक पर निशाना साधा था. इस साल दोहा में उन्होंने कांस्य पदक जीता था.
शगुन चौधरी ( महिला ट्रैप इवेंट)
शगुन चौधरी ओलंपिक क्वालिफाई करने वाली पहली भारतीय महिला शॉटगन शूटर हैं. शगुन चौधरी के प्रदर्शन में निरंतरता देखने को नहीं मिलती है, हालांकि 18 निशानेबाजों के पूल में उनसे पदक की उम्मीद की जा सकती है.
विजय कुमार (Rapid-fire pistol and 10m air pistol men)
हिमाचल प्रदेश के छोटे शहर से आने वाले विजय कुमार आज दुनिया के बेहतरीन रेपिड फायर निशानेबाजों में शुमार किए जाते हैं. उन्होंने वर्ल्ड कप में दो रजत पदक जीता है. उन्होंने 2010 के एशियन गेम्स में 2 कांस्य पदक जीता. इसके अलावा उन्होंने 2010 राष्ट्रमंडल खेलों में 3 स्वर्ण पदक और एक रजत पदक पर निशाना साधा.
जॉयदीप करमाकर (50m rifle prone)
लंदन ओलंपिक के लिए क्वालिफाई करने वाली निशानेबाजों की टीम में सबसे अनजाना चेहरा है जॉयदीप करमाकर. जॉयदीप ने सिडनी में आयोजित विश्व कप में रजत पदक हासिल किया था. इस इवेंट में उन्होंने शानदार 599/ 600 का स्कोर हासिल किया था.