असम अगले महीने एआईबीए युवा वर्ल्ड बॉक्सिंग चैंपियनशिप की मेजबानी करेगा. जिसमें देश की युवा मुक्केबाज खासकर स्थानीय खिलाड़ी अनुक्षिता बोरो और जॉय कुमारी पर पूरे देश की नजरें होंगी. हालांकि इन दोनों खिलाड़ियों पर घर में खेलने का कोई दबाव नहीं है. इनका मानना है कि यह उसी तरह अपने विपक्षी का सामना करेंगी, जिस तरह लंदन ओलंपिक -2012 में मेरी कॉम ने किया था.
युवा वर्ल्ड बॉक्सिंग चैंपियनशिप
भारतीय टीम तुर्की में आयोजित किए गए अहमद कोमेर्ट मुक्केबाजी चैंपियनशिप और बाल्कन यूथ चैंपियनशिप में कुल 17 पदक लेकर लौटी थी, जहां अनुक्षिता ने दोनों टूर्नामेंट्स में 60 किलोग्राम भारवर्ग में रजत पदक जीता था. वहीं जॉय कुमारी ने कांस्य पर कब्जा जमाया था. दिग्गज महिला मुक्केबाज मेरी कॉम का भी मानना है कि भारतीय मुक्केबाजी का भविष्य सही रास्ते पर है. इस टूर्नामेंट में हिस्सा ले रहीं मौजूदा खिलाड़ियों में से भविष्य की विजेता खिलाड़ी निकल कर आएंगी और घरेलू समर्थन के कारण इन खिलाड़ियों को बाकी खिलाड़ियों की अपेक्षा फायदा मिलेगा.
'खिलाड़ियों को घर में खेलने का मिलेगा फायदा'
दिग्गज महिला मुक्केबाज मेरी कॉम ने कहा, 'मैंने उनके साथ प्रशिक्षण शिविर के दौरान बात की थी और उनमें मुझे बड़ी क्षमता नजर आई. इन मुक्केबाजों को केवल सही लक्ष्य पर ध्यान देने की जरूरत है. यकीन मानिएए हम इन खिलाड़ियों में से चैम्पियन निकलते हुए देखेंगे.' मेरी कॉम ने कहा, 'ये गर्व की बात है और हम एक बेहतरीन टूनार्मेंट का आयोजन कर रहे हैं. मुझे लगता है कि इससे मुक्केबाजों को अच्छा प्रदर्शन करने में मदद मिलेगी, क्योंकि न केवल उनके कोच और टीम के साथी बल्कि घरेलू दर्शक भी उनकी हौसलाअफजाई करेंगे.'
19 से 26 नवंबर के बीच खेला जाएगा टूर्नामेंट
टीम टूर्नामेंट से पहले नई दिल्ली के इंदिरा गांधी स्टेडियम में अपने अभ्यास के आखिरी पड़ाव पर है. वह अपनी तैयारी में किसी तरह की कोई कसर नहीं छोड़ना चाहती हैं. यह युवा टीम अपनी सीनियर टीम के साथ अभ्यास कर रही हैं, जिनमें लंदन ओलंपिक -2012 का कांस्य पदक विजेता मेरी कॉम और 2006 की विश्व चैंपियन एल. सरीता देवी जैसी दिग्गज खिलाड़ी हैं. यह दोनों दो से 11 नवंबर के बीच हो चि मिंहए वियतनाम में एशियन चैंपियनशिप में हिस्सा लेंगी.