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क्या कुंबले की कमी पूरी कर सकेंगे अमित मिश्रा?

हालिया जिम्बाब्वे दौरा सिर्फ कप्तान विराट कोहली के लिए ही खास नहीं रहा बल्कि लम्बे समय तक टीम इंडिया से बाहर रहे लेग स्पिनर अमित मिश्रा के लिए भी बेहद खास रहा. सीरीज में 18 विकेट लेकर वर्ल्ड रिकॉर्ड बनानेवाले अमित मिश्रा ने कहा है कि अब टेस्ट टीम में जगह बनाना उनका लक्ष्य है.

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हालिया जिम्बाब्वे दौरा सिर्फ कप्तान विराट कोहली के लिए ही खास नहीं रहा बल्कि लम्बे समय तक टीम इंडिया से बाहर रहे लेग स्पिनर अमित मिश्रा के लिए भी बेहद खास रहा. सीरीज में 18 विकेट लेकर वर्ल्ड रिकॉर्ड बनानेवाले अमित मिश्रा ने कहा है कि अब टेस्ट टीम में जगह बनाना उनका लक्ष्य है.

कोहली के लिए जहां ये बेहद यादगार लम्हा रहा वहीं लगभग दो साल बाद वनडे टीम में वापसी कर रहे अमित मिश्रा के लिए भी जिम्बाब्वे का ये दौरा आगे टीम में बने रहने के लिए बहुत महत्वपूर्ण साबित हुआ. जून 2011 में वेस्ट इंडीज के खिलाफ अपना आखरी मैच खेलने के बाद टीम इंडिया में वापसी के लिए मिश्रा को लगभग 2 साल इंतजार करना पड़ा और इस दौरे में उन्होंने दिखा दिया कि वो दो सालों तक टीम से बाहर रहकर अपने हुनर को मांझने में लगे थे.

जिम्बाब्वे में आर अश्विन और हरभजन सिंह जैसे गेंदबाजों की गैरमौजूदगी में मिश्रा ने कुल 18 विकेट हासिल कर बेहतरीन वापसी की. इसी के साथ उन्होंने द्विपक्षीय एकदिवसीय सीरीज में सबसे ज्यादा 18 विकेट लेने वाले जवागल श्रीनाथ के विश्व रिकॉर्ड की बराबरी कर ली. हालांकि इस बात से इनकार नहीं किया जा सकता कि मिश्रा के सामने जिम्बाब्वे जैसी कमजोर चुनौती थी, लेकिन हकीकत ये भी है कि मिश्रा को अब तक ज्यादातर मौके तुलनात्मक रूप से कमजोर टीमों के खिलाफ ही मिले हैं.

उन्होंने अब तक अपने एकदिवसीय करियर में कुल 20 मैच खेले हैं, लेकिन इनमें से 13 मैच जिम्बाब्वे और वेस्ट इंडीज जैसी कमजोर टीमों के खिलाफ रहा है, जिसमें उन्होंने 31 विकेट झटके हैं. लेकिन इस शानदार प्रदर्शन के बाद उन्हें अब बड़ी टीमों के खिलाफ भी मौके का इंतजार है.
अगर टेस्ट मैचों कि बात की जाये तो अमित मिश्रा को अब तक भारत के लिए 13 मैच खेलने का मौका मिला है, जिसमें उनको 43 विकेट प्राप्त हुए हैं. ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ मोहाली में अपना पहला ही टेस्ट खेल रहे मिश्रा ने शानदार प्रदर्शन कर मैच में 7 विकेट झटके थे, और अगर कुछ क्रिकेट पंडितों कि मानें तो इसी प्रदर्शन के बाद अनिल कुंबले पर संन्यास का दबाव बनाया गया था.

अमित मिश्रा की परिपक्वता का अंदाजा आप उनके आईपीएल में किये कारनामों को देखकर आसानी से लगा सकते हैं, जहां उन्होंने बड़े-बड़े अंतर्राष्ट्रीय धुरंधरों को अपनी घूमती गेंदों के सामने नचाया है, और वे लसिथ मलिंगा के बाद आईपीएल में दूसरे सबसे ज्यादा (95) विकेट लेने वाले गेंदबाज हैं. साथ ही उनके नाम के आगे आईपीएल सबसे ज्यादा तीन बार हैट्रिक लेने का रिकॉर्ड भी दर्ज है. तो कुल मिलाकर जरूरत सिर्फ इस बात की है कि इस गेंदबाज को लगातार मौके दिये जाएं, ताकि अनिल कुंबले के संन्यास के बाद एक लेग स्पिनर की कमी जो भारत महसूस करता रहा है उस खालीपन को भरा जा सके.

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