भारतीय महिला हॉकी टीम की कप्तान रितु रानी का सपना है कि भारतीय महिला हॉकी टीम 2016 में ब्राजील के रियो डी जेनिरियो में होने वाले ओलम्पिक में गोल्ड मेडल जीते. हालांकि 2016 ओलंपिक में क्वालिफाई करने के लिए चीन के इंचियोन में शुरू हो रहे एशियाड में उनकी टीम को गोल्ड मेडल जीतना होगा. साउथ कोरिया और चीन जैसी मजबूत टीमों के रहते ये आसान नहीं रहने वाला है.
गुरुवार को खेल गांव मे फ्लैग होस्टिंग कार्यक्रम के दौरान मैदान में पहुंचने के लिए उन्हें काफी इंतजार करना पड़ा. शाहबाद की इस स्टार खिलाड़ी ने बताया कि टीम ने एशियाड के लिए जमकर तैयारी की है. रितु ने आत्मविश्वास के साथ कहा 'हमारा दिन आने वाला है'.
क्रिकेट खिलाड़ियों की तुलना में अन्य खेलों और उसके खिलाड़ियों की स्थिति दयनीय है. बेहद गरीब परिवार से आने वाली रितु ने बताया कि अपने परिवार में कमाने वाली सदस्य मैं ही हूं. अपनी 11 हजार की तनख्वाह से मै अपना परिवार चलाती हूं. रितु शाहबाद में रेलवे कर्मचारी हैं. अपने आर्थिक समस्याओं पर बात करते हुए रितु ने कहा कि अगर बेहतर सरकारी नौकरी दी जाए तो वो शाहबाद के बाहर जाने को भी तैयार हैं.