इंग्लैंड क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान एंड्रयू फ्लिन्टाफ शुक्रवार की रात को मुक्केबाजी रिंग में अपना जलवा दिखाने से पहले ही खुद को बैकफुट पर पा रहे हैं.
ब्रिटेन में फ्रेडी नाम से मशहूर फ्लिन्टाफ जब अमेरिका के रिचर्ड डासन के खिलाफ रिंग पर उतरेंगे तो स्काई टेलीविजन डॉक्यूमेंट्री ‘फ्लिन्टाफ... लार्डस से लेकर रिंग तक’ के लिये उनका फिल्मांकन करेगा.
पिछले पांच महीनों से 34 वर्षीय फ्लिन्टाफ पूर्व विश्व फीदरवेट चैंपियन बैरी मैकगुएन और उनके पुत्र शेन से प्रशिक्षण ले रहे हैं. वह डासन से दो मिनट के राउंड के लिये तैयार हैं. डासन ने अपने पहले दोनों मुकाबले जीते थे, लेकिन इससे पहले ही फ्लिन्टाफ को आलोचनाएं सहनी पड़ रही है.
उन पर आरोप लगाया जा रहा है कि वह मुक्केबाजी को गंभीरता से नहीं ले रहे हैं और शुक्रवार का मुकाबला केवल टीवी के लिये है. ब्रिटिश प्रमोटर फ्रैंक मालोनी ने मुक्केबाजी से जुड़े अधिकारियों की फ्लिन्टाफ को लाइसेंस प्रदान करने के लिये आलोचना की है.
छह फीट चार इंच लंबे फ्लिन्टाफ ने हालांकि कहा कि उनका हैवीवेट मुक्केबाज के रूप में नया करियर वास्तविक है और वह डॉक्यूमेंट्री बनाने के उद्देश्य से रिंग पर नहीं उतर रहे हैं. फ्लिन्टाफ ने कहा, ‘मैं समझता हूं कि लोग खेलों के संरक्षक होते हैं लेकिन मैं शुक्रवार को रिंग पर उतरूंगा और अपनी तरफ से कोई कसर नहीं छोड़ूंगा.’
उन्होंने कहा, ‘उन्हें मुझे देखने और मुझे मौका देने की जरूरत है. इस मुकाबले और डॉक्यूमेंट्री के जरिये मैं दिखाना चाहता हूं कि मुक्केबाज को क्या बलिदान करने पड़ते हैं. मैं उन चीजों को दिखाना चाहता हूं जिनके बारे में सामान्य खेल प्रेमी नहीं जानता.’
फ्लिन्टाफ ने कहा, ‘यह मुकाबला टीवी कार्यक्रम से पहले होगा. टीवी कार्यक्रम इस मुकाबले का परिणाम है लेकिन आपको टीवी कार्यक्रम से पता चलेगा कि मैंने इसके लिये कितनी मेहनत की है.’
इस पूर्व आलराउंडर ने दो साल पहले क्रिकेट से संन्यास ले लिया था. वह इंग्लैंड की 2005 और 2009 की एशेज सीरीज में जीत के नायक रहे थे. फ्लिन्टाफ के पहले पेशेवर मुक्केबाजी मुकाबले के लिये टिकटों की बिक्री धीमी है लेकिन उन्हें उम्मीद है कि जो भी मैनेचेस्टर एरेना में आकर या टेलीविजन पर उनका मुकाबला देखेगा वह उन्हें गंभीरता से लेगा. उन्होंने कहा, ‘मैं नौटंकी नहीं कर रहा हूं. काफी कुछ दांव पर लगा है.’