भारतीय कप्तान महेंद्र सिंह धोनी ने इंग्लैंड के खिलाफ दूसरे टेस्ट क्रिकेट मैच में 95 रन से जीत को ‘यादगार’ करार देते हुए सभी खिलाड़ियों के बेहतरीन प्रदर्शन की बदौलत टीम लार्ड्स के ऐतिहासिक मैदान पर परचम लहराने में सफल रही.
धोनी ने मैच के बाद कहा, ‘यह हमारे लिये यादगार जीत है. हमारे अधिकतर खिलाड़ियों को इंग्लैंड में खेलने का अनुभव नहीं था लेकिन उनको रवैया शानदार था. यह बेहतरीन प्रदर्शन था.’ उन्होंने कहा, ‘हमने 2011 की हार (चारों टेस्ट मैचों में) से सबक सीखा.
तीसरे दिन तक मैच में बने रहना महत्वपूर्ण था क्योंकि इसके बाद हमारे स्पिनरों की भूमिका अहम हो जाती. हमें 2011 में ऐसा करने की जरूरत थी लेकिन तब हम ऐसा नहीं कर पाये थे.’ इशांत शर्मा ने मैच के पांचवें दिन बेहतरीन प्रदर्शन किया और अपने करियर का सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करते हुए 74 रन देकर सात विकेट लिये.
उन्होंने अपनी शॉर्ट पिच गेंदों पर विकेट लिये और धोनी ने खुलासा किया इस तेज गेंदबाज को ऐसा करने की सलाह उन्होंने दी थी. भारतीय कप्तान ने कहा, ‘आज पहले सत्र ने हमें दिखाया कि हमें अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करना होगा. ऐसे मौकों पर आप खुद पर संदेह करने लग जाते हैं.
लंच से पहले के आखिरी ओवर में इशांत शॉर्ट पिच गेंद नहीं करना चाहता था. मैंने उससे ऐसा करने के लिये कहा. उसने बेजोड़ प्रदर्शन किया.’ उन्होंने कहा, ‘टॉस काफी महत्वपूर्ण था. पिच से तेज गेंदबाजों को मदद मिल रही थी लेकिन हमारे बल्लेबाजों ने अच्छा प्रदर्शन किया. आप चाहते हो कि विरोधी टीम 90 से अधिक ओवर करे क्योंकि ऐसे में जब पुछल्ले बल्लेबाज आते हैं तो उनके लिये काम आसान हो जाता है. हमारे सभी बल्लेबाजों ने वास्तव में अच्छा खेल दिखाया.’
धोनी ने रविंद्र जडेजा की विशेष रूप से तारीफ की जिन्होंने दूसरी पारी में अपने करियर का पहला अर्द्धशतक जमाया जिससे भारत बड़ा लक्ष्य रखने में सफल रहा. उन्होंने कहा, ‘जडेजा को इस तरह का खेल खेलना चाहिए. मुझे लगता है कि वह जितना अधिक टेस्ट मैच खेलेगा उतना ही वह बेहतर बल्लेबाज बनता जाएगा. मेरा मानना है कि उसकी तकनीक बहुत अच्छी है लेकिन वह खुद स्वयं पर सबसे अधिक संदेह करता है.’
धोनी ने तेज गेंदबाजी के आलराउंडर और भुवनेश्वर कुमार के प्रदर्शन पर कहा, ‘मुझे लगता है कि हमें तेज गेंदबाजी के ऑलराउंडर की कमी को लेकर बहस बंद कर देनी चाहिए. हमारे पास जो संसाधन हैं हमें उन्हीं का उपयोग करना होगा.’