चाइनामैन गेंदबाज कुलदीप यादव का मानना है कि ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ पहले डे-नाइट टेस्ट मैच में उन्हें प्लेइंग इलेवन में रखना गलत फैसला नहीं होगा, क्योंकि दूधिया रोशनी में स्पिनरों को समझना बल्लेबाजों के लिए काफी मुश्किल होता है. सोमवार को कुलदीप 26 साल के हो गए.
इंडियन प्रीमियर लीग (IPL) में कोलकाता नाइटराइडर्स (KKR) की तरफ से खेलने वाले कुलदीप ने एडिलेड में 17 दिसंबर से शुरू होने वाले दिन रात्रि मैच के संदर्भ में बात की. उन्होंने केकेआर.इन से कहा, ‘मेरा मानना है कि रात में स्पिनरों की गेंदों को समझना मुश्किल होता है क्योंकि स्पिनर अलग अलग वैरीएशन का उपयोग करते हैं और ऐसे में गेंद की सिलाई की स्थिति का अनुमान लगाना आसान नहीं होता है. यह हमारे लिए फायदे वाली बात है.’
भारत का यह विदेशों में पहला डे-नाइट टेस्ट मैच होगा. इससे पहले वह 2019 में कोलकाता में गुलाबी गेंद से मैच खेल चुके हैं. कुलदीप ने कहा, ‘मुझे भारत के बाहर गुलाबी गेंद से मैच खेलने का अनुभव नहीं है, इसलिए यह देखना रोमांचक होगा कि इस मैच में खेल कैसे आगे बढ़ता है.’
उन्होंने कहा, ‘यह कहना सही नहीं होगा कि ऑस्ट्रेलियाई परिस्थितियों में स्पिनरों का दबदबा नहीं रहेगा. ऐसे कई वाकए हैं, जब स्पिनरों ने यहां अच्छा प्रदर्शन किया है. यह पूरी तरह से इस पर निर्भर करता है कि आप परिस्थितियों से कितनी जल्दी तालमेल बिठाते हो.’
कुलदीप ने कहा, ‘हमने हाल में काफी टी20 क्रिकेट खेला है. टेस्ट क्रिकेट खेलते हुए संयम बनाए रखने की जरूरत होती है. मानसिक दृढ़ता काफी महत्वपूर्ण होती है. छोटे प्रारूप से लंबे प्रारूप में खेलने पर आप कई चीजों को जल्दी जल्दी आजमाने की कोशिश करते हो. टेस्ट क्रिकेट में विकेट आसानी से नहीं मिलते इसलिए धैर्य रखना महत्वपूर्ण होता है.’
कुलदीप ने अब तक 6 टेस्ट मैच खेले हैं, जिनमें 2 मैच उन्होंने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ खेले हैं. उन्होंने कहा कि अगर उनके तेज गेंदबाज अच्छा प्रदर्शन करते हैं और बल्लेबाज लय बनाए रखते हैंस तो भारत इस बार भी सीरीज जीत सकता है. उन्होंने कहा, ‘हमने पिछली बार अच्छा प्रदर्शन किया था और इसलिए हम सीरीज जीते थे. अगर हमारे अच्छा प्रदर्शन करते हैं और बल्लेबाज भी पिछली बार की तरफ खेलते हैं तो हम इस बार भी जीतेंगे.’