अच्छी शुरुआत के बावजूद भारत की सायना नेहवाल रविवार को इतिहास रचने से चूक गईं. उन्हें ऑल इंग्लैंड ओपन बैडमिंटन चैम्पियनशिप के महिला एकल वर्ग के खिताबी मुकाबले में स्पेन की कैरोलीन मरीन से हार का सामना करना पड़ा.
नंबर वन बनना मेरा लक्ष्यः सायना नेहवाल
मरीन ने सायना को एक घंटे दो मिनट में 16-21, 21-14, 21-7 से हराकर महिला एकल खिताब जीता. किसी वर्ल्ड सुपरसीरीज प्रीमियर टूर्नामेंट के फाइनल में पहली बार पहुंची विश्व की तीसरी वरीय सायना ने मैच में शानदार आगाज किया और पहले गेम में 11-6 की बढ़त बनाई और फिर 21-16 से इसे जीतने में सफल रहीं.
दूसरे गेम में हालांकि छठी वरीय मरीन ने सायना को कड़ी टक्कर दी. सायना यहां भी शुरुआत में 10-6 से आगे चल रहीं थी लेकिन इसके बाद मरीन शानदार वापसी करने में कामयाब रहीं. मरीन ने पहले 11-11 और फिर 13-13 से बराबरी की. इसके बाद अगले नौ में से आठ अंक हासिल कर मैरीन ने दूसरा गेम 21-14 से जीता.
दूसरे गेम में हार के बाद अपना लय पूरी तरह से खो चुकीं सायना तीसरे गेम में मरीन के आगे बेबस दिखीं. गेम के बीच हुए ब्रेक तक मरीन 11-4 की बढ़त हासिल करने में कामयाब हो गईं थी. मरीन के तेज शॉट का सायना के पास कोई जवाब नहीं दिखा और वह तीसरा गेम 21-7 से गंवा बैठीं.
मरीन ने अपने करियर में पहली बार सायना को हराया है. इससे पूर्व के तीन मौकों पर उन्हें सायना से हार का सामना करना पड़ा था. गौरतलब है कि पूर्व में केवल दो भारतीय खिलाड़ी पुलेला गोपीचंद (2011) और प्रकाश पादुकोण (1980) ही ऑल इंग्लैंड ओपन का खिताब जीतने में सफल रहे हैं.