रियो ओलंपिक के लिए सद्भावना दूत नियुक्त किए जाने को लेकर उपजे विवाद पर सुपरस्टार सलमान खान ने कहा कि वह विवाद से परेशान नहीं हैं क्योंकि उन्होंने महसूस किया कि इसने इसके बारे में जागरूकता फैलाने में मदद की.
इंडियन ओलंपिक एसोसिएशन (आईओए) ने रियो ओलंपिक 2016 के लिए सलमान को भारतीय टुकड़ी का सद्भावना दूत बनाने की घोषणा की थी.
नियुक्ति की हुई थी आलोचना
उनकी नियुक्ति की कुछ खिलाड़ियों, विशेषज्ञों और विश्लेषकों ने आलोचना की थी, जिन्होंने महसूस किया था कि अगर किसी खिलाड़ी को इस काम के लिए नियुक्त किया गया होता तो ज्यादा बेहतर होता.
विवाद से ज्यादा जानते लोग
विवाद के बारे में पूछे जाने पर सलमान ने कहा, ‘मैं चाहता था कि यह विवाद लंबे समय तक चले ताकि लोग रियो ओलंपिक के बारे में जानें. यह शीघ्र ही समाप्त हो गया. जब क्रिकेट खेलने वाले सचिन तेंदुलकर और संगीतकार ए. आर. रहमान को ब्रांड एंबेस्डर नियुक्त किया गया था, तब कोई विवाद नहीं हुआ था. यह निराशाजनक है.
अब ओलंपिक का जिक्र किताबों में नहीं
अभिनेता ने कहा कि उन्होंने सोचा कि मुद्दा दो से तीन सप्ताह के लिए खिंचेगा लेकिन वैसा नहीं हुआ. उन्होंने कहा, ‘हमारी पीढ़ी ओलंपिक के बारे में जानती थी क्योंकि हमारी किताबों में ओलंपिक का लोगों हुआ करता था, लेकिन अब वह नहीं होता.’
'मैं दोषी नहीं हूं'
उन्होंने कहा, ‘काफी लोगों ने कहा कि मुझे अदालती मामलों की वजह से वहां नहीं होना चाहिए था. अगर अदालत में मामले हैं तो भी क्यों मुझे ओलंपिक के लिए सद्भावना दूत नहीं नियुक्त किया जा सकता. मैं दोषी नहीं हूं.'