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मुंबई टेस्टः टीम इंडिया को 'दिग्गजों' ने किया निराश

हमें तो अपनों ने लूटा गैरों में कहां दम था. ये शेर टीम इंडिया पर सटीक बैठता है क्योंकि टीम इंडिया की लुटिया डूबोने वाले भी इसी टीम के ही खिलाड़ी हैं. और इन्हीं के लचर प्रदशर्न की वजह से वो बोझ बने हुए हैं. आइए जानते हैं कौन-कौन से हैं वो खिलाड़ी जो भारतीय टीम पर बोझ बन गए हैं-

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टीम इंडिया
टीम इंडिया

हमें तो अपनों ने लूटा गैरों में कहां दम था. ये शेर टीम इंडिया पर सटीक बैठता है क्योंकि टीम इंडिया की लुटिया डूबोने वाले भी इसी टीम के ही खिलाड़ी हैं. और इन्हीं के लचर प्रदशर्न की वजह से वो बोझ बने हुए हैं. आइए जानते हैं कौन-कौन से हैं वो खिलाड़ी जो भारतीय टीम पर बोझ बन गए हैं-

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आप ही बताइए कसूर क्या है टीम इंडिया का. बस इतना कि इसने अपनों पर भरोसा किया था. बस इतना कि उसने अपने घर में बदला लेने की अपनों से उम्मीद की थी. लेकिन अफसोस. अफसोस कि वो सारे के सारे बोझ बन गए अपनी ही टीम के कंधों पर.

आज तक अपनी पिच पर ये सिर्फ एक बार हारे थे. बड़ी उम्मीदें थीं इनसे. विदेश में लगातार 8 टेस्ट हार कर आए तो चाहने वालों के साथ-साथ इनका भी दिल दुखा था. बदला लेने को इन्होंने नायाब तरीका ढूंढ निकाला. जैसे को तैसा. बाउंसी का बदला टर्निंग ट्रैक से. बड़े-बड़े बोल भी बोले.

लेकिन, अपने ही गड्ढे में गिर पड़े. अंग्रेजों की फिरकी में होश ऐसे खोए कि अपने किस स्पिनर से कब गेंदबाजी करानी है, भूल ही गए. चलिए, कप्तानी तो छोड़िए, जब बल्ला थामने की बारी आई तो हाथ कैसे कांपने लगे. कहते हैं कि ऊपरवाला बोझ कम करता है लेकिन क्रिकेट के भगवान पर तो बोझ है कि बढ़ता ही जा रहा है.

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इसी बोझ तले बेचारे भगवान इतने दब चुके हैं कि 26 पारियों से शतक ही नहीं लगा. चलिए, दूर की तो छोड़िए, इस सीरीज़ की तीन पारियां ही देख लीजिए. और हां, कुल जमा रनों के साथ-साथ इनके आउट होने का तरीका भी दिलचस्‍प है.

करीब 15 महीने बाद 15 में जगह मिली तो लगा कि हरभजन सिंह इलेवन में मौका मिलते ही सारी की सारी कसक निकाल देंगे. करने को वो शिकायत कर सकते हैं कि कप्तान ने गेंद देर से थमाई और पूरी पारी में 21 ओवर ही करने को मिले.

लेकिन वो खुद से पूछें कि क्या इन 21 ओवरों में दो गेंदबाजों का शिकार कर वो गर्व से सिर उठा सकते हैं. अगर जहीर खान को यही लगता है कि फिट होकर मैदान में उतरना ही उनकी काबलिय़त है तो ऐसी काबलियत उन्हीं को मुबारक. इंग्लैडं के खिलाफ 3 पारियों में उन्होंने 119 रन लुटा दिए और विकेट झटके बस 3.

अरसे से फॉर्म और फिटनेस के हर मोर्चे पर हार रहे टीम के स्ट्राइक गेंदबाज की नाकामी इन आंकड़ों से कहीं बढ़कर है. उनका रनअप, उनकी डिलिवरी और उम्मीदों का कचूमर निकालती उनकी ये गेंदें टीम इंडिया के कंधों पर बोझ बढ़ाने के लिए काफी हैं.

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