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मेड इन चाइना कंप्यूटर्स में लगे चिप से ऐपल, ऐमेजॉन जैसी कंपनियों की जासूसी कर रहा है चीन

ऐपल, ऐमेजॉन और सुपर माइक्रो ने कहा है कि बिजनेस वीक की रिपोर्ट में जिस चिप की बात की जा रही है उन्हें ऐसी कोई भी चिप नहीं मिली है. बिजनेस वीक ने गुप्त सरकारी सूत्रों के हवाले  से ये रिपोर्ट की है. रिपोर्ट के मुताबिक सुपर माइक्रो ने मिर्माण के दौरान ऐसे कोई भी चिप के पाए जाने से इनकार किया है.

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Representational Image
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चीन दुनिया की नंबर-1 टेक कंपनी ऐपल और ऐमेज़ॉन सहित 20 कंपनियों की जासूसी कर रहा है. यह चौंकाने वाला खुलासा ब्लूमबर्ग बिजनेस वीक की एक रिपोर्ट से हुई है. इस रिपोर्ट में दावा किया गया है कि चीन में बने कंप्यूटर्स और सर्वर से ये जासूसी की जा रही है. इस रिपोर्ट में यहां तक कहा गया है कि चीन न सिर्फ ऐपल और ऐमजॉन की ही नहीं बल्कि FBI की भी जासूसी मेड इन चाइना कंप्यूटर और सर्वर से कर रही है.

ब्लूमबर्ग की एक रिपोर्ट में कहा गया है कि चीन के जासूसों ने सुपर माइक्रो कंपनी के लिए चीनी फैक्ट्री में बने मदरबोर्ड में चावल के दाने जैसी छोटी माइक्रोचिप लगाई है. यही मदरबोर्ड ऐमेजॉन और ऐपल सहित लगभग 28 अमेरिकी कंपनियां अपने सर्वर में यूज कर रही थीं.

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रिपोर्ट के मुताबिक सुपर माइक्रो मदरबोर्ड में लगाया गया ये छोटे चिप ने चीनी जासूस और हैकर्स को कंपनियों को डेटा सेंटर्स और उन कंप्यूटर्स में ऐक्सेस दिया होगा जहां सुपर माइक्रो मदरबोर्ड इस्तेमाल किए गए हैं.

रिपोर्ट के मुताबिक चीन की तरफ से 30 कंपनियों को टार्गेट किया गया था. ब्लूमबर्ग की इस पड़ताल में यह पाया गया है कि यह अमेरिकी कंपनियों के खिलाफ अब तक का जाना जाने वाला सबसे बड़ा सप्लाई चेन अटैक है.

न्यूज एजेंसी का कहना है कि ऐपल और ऐमेजॉन ने 205 में ही सर्वर्स में ऐसे चिप्स ढूंढे थे. ऐपल ने सुपर माइक्रो सर्वर से 2015 में ही अपनी पार्टनरशिप खत्म कर ली थी. रिपोर्ट के मुताबिक इस जासूसी में यूजर डेटा ब्रीच नहीं हुआ है.

चीनी सरकार ने इस तरह की कोई भी जासूसी से साफ इनकार किया है. चीन के विदेश मंत्रालय ने ब्लूमबर्ग को बताया है, ‘चीन साइबर सिक्योरिटी का दृढ़ रक्षक है.’

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