भारत की सबसे बड़ी ई-कॉमर्स वेबसाइट फ्लिपकार्ट में सॉफ्टवेयर दिग्गज माइक्रोसॉफ्ट ने निवेश किया है. इसके अलावा ई-बे और टेनसेंट ने भी निवेश किया है. आपको बता दें कि फ्लिपकार्ट के 10 साल के इतिहास में पहली बार इतनी फंडिंग मिली है. इन तीनों कंपनियों ने मिलकर 1.4 बिलियन डॉलर (1.4 अरब डॉलर) का फंड दिया है.
इस निवेश के साथ ही यह किसी भी भारतीय स्टार्टअप पर किया जाने वाला सबसे बड़ा निवेश है.
इस निवेश के बाद अब फ्लिपकार्ट ई-कॉमर्स वेबसाइट eBay के भारतीय बिजनेस का अधिग्रहण कर लेगी. फ्लिपकार्ट में इक्विटी स्टेक के बदले eBay अब कैश निवेश कर रही है जिसके साथ ही eBay का भारतीय बिजनेस अब फ्लिकार्ट का हो जाएगा.
हालांकि eBay भारत में फ्लिपकार्ट के अंतर्गत रहकर स्वतंत्र रूप से काम करता रहेगा.
eBay स्नैपडील में भी निवेश करता है और अब कंपनी ने फ्लिपकार्ट में 500 मिलियन डॉलर का निवेश किया है.
एक तरफ फ्लिपकार्ट को अरबों का निवेश मिल रहा है तो दूसरी तरफ स्नैपडील बिकने के कगार पर है. कंपनी के सबसे बड़े इन्वेस्टर्स जिनमें सॉफ्टबैंक लगातार कंपनी पर अपना बिजनेस बेचने का दबाव बना रहा है.
गौरतलब है कि फ्लिपकार्ट में निवेश करने वाली कंपनियों में टाइगर ग्लोबल , नैप्सर्स ग्रुप, ऐस्सेल पार्टनर्स और डीएसटी ग्लोबल जैसी कंपनियां शामिल हैं. जिसमें टाइगर ग्लोबल मुख्य रूप से शामिल है.
फ्लिपकार्ट के फाउंडर सचिन बंसल और बिन्नी बंसल ने कहा है, ‘फ्लिपकार्ट और भारत के लिए यह लैंडमार्क डील है. यह हमारे टेक कौशल, इनोवेटिव माइंडसेट और ट्रेडिशनल मार्केट को डिसरप्ट करने की संभावनाओं को को बढ़ावा देता है. यह निवेश इस बात का प्रमाण है कि भारत में रोजमर्रा की जिंदगी में स्वदेशी टेक इकोसिस्टम काफी सहयोग कर रहा है’