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जब Google के CEO सुंदर पिचाई को भूकंप आने से पहले ही मिल गया था अलर्ट, ये ऐप आया काम

देर रात दिल्ली-एनसीआर में भूकंप के झटके महसूस किए गए. लेकिन, Google एक ऐसी टेक्नोलॉजी ला चुका है जिससे भूकंप आने से पहले ही लोगों को अलर्ट मिल जाता है. इसके बार में हाल ही में Sundar Pichai ने भी ट्वीट किया था. ShakeAlert ऐप की वजह से ऐसा संभव हो पाया है.

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Sundar Pichai को पहले ही मिल गया था भूकंप का अलर्ट
Sundar Pichai को पहले ही मिल गया था भूकंप का अलर्ट

दिल्ली-NCR समेत उत्तर भारत में देर रात भूकंप के झटके महसूस किए गए. जबकि सुबह में उत्तराखंड के पिथौरागढ़ में भूकंप के झटके महसूस किए गए. लोगों के अनुसार, ये झटके इतने तेज थे वो घऱ से बाहर निकल आए. रिपोर्ट के अनुसार, देर रात को 1:57 बजे काफी तेज झटके महसूस किए गए. रिक्टर स्केल पर इसकी तीव्रता 6.3 मापी गई. यह झटके दिल्ली-NCR के अलावा UP और बिहार में भी महसूस किए गए.

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भूकंप के झटके इतने तेज थे कि दिल्ली-NCR में बहुमंजिला इमारतों में रहने वाले लोग सड़कों पर उतर कर आ गए. लोग भयभीत दिखाई दिए. लोग सो रहे थे तभी अचानक बेड हिलते हुए महसूस किए गए और कई लोगों ने रसोई में बर्तन भी बजते हुए महसूस किए.

लेकिन, क्या हो अगर इसकी सूचना आपको पहले मिल जाए. ऐसा हाल ही में हुआ है. 26 अक्टूबर 2022 को सैन फ्रांसिस्को खाड़ी क्षेत्र में 5.1 तीव्रता का भूकंप आया था. इसका अलर्ट गूगल के सीईओ सुंदर पिचाई को और दूसरे यूजर्स को पहले ही मिल गया था. इसकी जानकारी उन्हें कैसे मिली, आइए बताते हैं.

3 साल पहले हुआ था प्रयोग

इसके बारे में उन्होंने ट्वीट करके भी जानकारी दी थी. आपका बता दें कि ऐसा ShakeAlert ऐप की वजह से हो पाया. इस पर कंपनी ने काफी समय पहले काम करना शुरू किया था. गूगल ने ये प्रोजेक्ट साल 2013 में शुरू किया था. इसका पहला प्रयोग 2019 में किया गया था. 

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आपको बता दें कि लोगों को शेकअलर्ट ऐप की मदद से मोबाइल अलर्ट भेजा जाता है. इसको गूगल ने डेवलप किया है. आपको बता दें ऐप प्राकृतिक आपदाओं की भविष्यवाणी नहीं करता है, इसके बजाय यह राज्य सरकार की एजेंसियों और थर्ड पार्टी के उपलब्ध कराए गए डेटा का विश्लेषण करता है. 

तेज गति से भेजता है डेटा

जब भूकंपीय तरंगें उत्पन्न होती है तो एजेंसी के सेंसर्स डेटा को रिकॉर्ड करते हैं और डैमेज को लेकर डेटा सेंड करते हैं. ShakeAlert सिस्टम इसकी जानकारी को जमा करता है और लोगों को भूकंप के बारे में नोटिफिकेशन अलर्ट भेजता है. 

इसके अलावा कंपनी समुद्र में मौजूद सबमरीन केबल्स की मदद से इसके बारे में पता लगाता है. खास बात ये है कि ये ऐप्स दूसरे जगहों तक डेटा काफी तेज गति से भेजते हैं. इस वजह से लोगों को भूकंप का अलर्ट कुछ सेकेंड्स पहले मिल जाता है. कई बार 1 मिनट पहले भी लोगों को भूकंप अलर्ट मिल जाता है. 

आसान भाषा में ये कोई भविष्यवाणी नहीं करता है बल्कि लोगों तक भूकंप के झटके पहुंचने से पहले ही उनको अलर्ट दे देता है. कंपनी अभी इस पर और भी ज्यादा काम कर रही है. फिलहाल ये सर्विस केवल कैलिफोर्निया में उपलब्ध है. लेकिन, माना जा रहा है कंपनी इस सर्विस का विस्तार आने वाले समय में करेगी. इससे भारत में भी ये सर्विस मिलने की उम्मीद है. 

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