शिवलिंग को शिव जी का निराकार स्वरुप मना जाता है. शिव पूजा में इसकी सर्वाधिक मान्यता है. शिवलिंग में शिव और शक्ति दोनों ही समाहित होते हैं. शिवलिंग कि उपासना करने से दोनों की ही उपासना सम्पूर्ण हो जाती है. विभिन्न प्रकार के शिव लिंगों की पूजा करने का प्रावधान है जैसे- स्वयंभू शिवलिंग, नर्मदेश्वर शिवलिंग, जनेउधारी शिवलिंग, सोने और चांदी के शिवलिंग और पारद शिवलिंग. स्वयंभू शिवलिंग की पूजा सबसे ज्यादा महत्वपूर्ण होती है और फलदायी भी. इस पर देखें किस्मत कनेक्शन.
In this episode of Kismat connection we will tell you about the glory of Shivaling. Shivaling is considered as the form of Shiva. The establishment and worship of Shivaling can fulfilled all your wishes. Also know about today Rashifal and goodluck.